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Medicines कैसे बनती है in Hindi

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आज से कई साल पहले तक हम आधुनिक दवाइयों के बारे में कुछ नहीं जानते थे। जितने भी दवाइयां या औषधि का इस्तेमाल हम करते थे वह पेड़ पौधों और वनस्पतियों से प्राप्त होता था। लेकिन, आज के आधुनिक युग में हम जहां टेबलेट और सिरप के रूप में दवाइयों को ग्रहण करते हैं। आज के हमारे इस लेख में हम इसी बारे में चर्चा करने वाले हैं (Medicines कैसे बनती है in Hindi )  – दवाइयां कैसे बनती है? आप भी कभी ना कभी अभी बीमार तो जरूर पडते होंगे। जब भी आप बीमार होते हैं तो डॉक्टर के पास उसके इलाज के लिए जाते हैं। डॉक्टर आपको बीमारी से संबंधित बहुत सारी दवाइयां और कभी-कभी सिरप भी देते हैं। लेकिन क्या कभी आपने यह सोचा है कि दवाइयां कैसे बनती है? एक समय था जब इंसान मक्खियों की तरह हेजा और मलेरिया जैसी बीमारियों की चपेट में आ जाता था। हेजा और मलेरिया उस दौरान महामारी का रूप ले लेती थी और कई सारे लोगों की जान साधारण से बीमारी से हो जाता था। सौभाग्य से, हमें विज्ञान को धन्यवाद कहना चाहिए। क्योंकि, विज्ञान की मदद से आज हमारे पास अनगिनत बीमारियों से लड़ने के लिए दवाएं उपलब्ध है। हमने विज्ञान की मदद से ऐसी बीमारियों का इलाज भी खोज निकाला है जिन का इलाज पहले असंभव सा लगता था। हमने अनुसंधान और विकास के कई दशकों में महारत हासिल कर ली है कि हम अभी इस स्थिति में पहुंच गए हैं कि हम किसी भी बीमारी के जड़ तक पहुंच सकते हैं और उसके संबंधित इलाज के बारे में शोध कर सकते हैं। आज हमारा यह समाज बहुत सी बीमारियों से बचा है। जिसके वजह केवल और केवल विज्ञान है। यह दवा का निर्माण और निष्कर्षण है जो हमें बीमारियों के डर के बिना हमारे जीवन के बारे में दिए जाने के लिए विलासिता प्रदान करता है। आज के हमारे इस लेख में हम इसी बारे में जानकारी लेंगे की How are Medicines Made? – दवाइयां कैसे बनती है?

 

 

 

 

Medicines कैसे बनती है in Hindi

 

 

 

 

How are Medicines Made? – दवाइयां कैसे बनती है?

वर्तमान समय में किसी भी बीमारी के लिए दवाइयां गोलियां और कैप्सूल, सिरप, जैल और क्रीम, इंजेक्शन और इनहेलेबल चीजों के रूप में बनाई जाती है। कुछ दवाइयां तो ऐसी होती है जिनकी कीमत काफी ज्यादा होती है। और ऐसी दवाइयां बनाने में भी काफी मेहनत लगती है।

दवाइयां क्या होती है?

दवाइयां या Medicine ऐसे पदार्थ है जिनका उपयोग बीमारियों के इलाज या रोकथाम और उनके लक्षण को कम करने के लिए किया जाता है। उन्हें प्रयोगशालाओं में रासायनिक रूप से संश्लेषित किया जा सकता है या उपलब्ध प्राकृतिक संसाधनों जैसे कि पौधा और खनिज से प्राप्त किया जा सकता है।

एस्प्रिन नाम की दवा के बारे में तो आपको जरूर पता होगा। इस दवा का इस्तेमाल दर्द निवारक के रूप में किया जाता है। आपने भी इस दवा का इस्तेमाल अपनी जिंदगी में एक ना एक बार जरूर ही किया होगा जब आपको काफी जोरों से सिर दर्द हुआ होगा।

एस्प्रिन दवा रासायनिक रूप से उत्पादित किया जाता है। जबकि पेनिसिलिन जैसे एंटीबायोटिक्स कवक प्रजाति पेनिसिलियम क्राइसोजेनम से निकाले जाते हैं। वहीं वर्तमान समय में बैक्टीरिया से भी एंटीबायोटिक्स निकाले जा रहे हैं। जैसे कि उदाहरण के तौर पर स्ट्रैप्टोमाइसिन जिसे स्ट्रेप्टोमाइसेस नामक बैक्टीरिया से निकाला जाता है।

इन सभी विशेष योगिकों, चाहे संश्लेषित या निकाले गए हो को दवा के सक्रिय दवा घटक के रूप में जाना जाता है। प्रत्येक दवा में एक आदित्य योगिक होता है जो वंचित उपचारात्मक या निवारक प्रभाव प्राप्त कर सकता है।

जब कोई दवा शरीर में प्रवेश करती है तो दवाइयों के सक्रिय तत्व हमारे शरीर में जैव रासायनिक घटकों के साथ मिल जाते हैं ताकि वह हमारे शरीर में होने वाली बीमारियों को रोक सके।

 

 

 

 

 

 

दवाइयों को कैसे बनाया जाता है?

जैसा कि हमने पहले ही इस बारे में जिक्र किया है कि हमें दवाइयां या तो प्राकृतिक रूप से मिलती है या फिर हम इसे रसायनिक तरीके से किसी योगिक या तत्व से निकालते हैं। इन्हीं के आधार पर हम कह सकते हैं कि हम दवाइयों को 2 तरीके से बनाते हैं।

  1. रसायनिक तरीके से
  2. प्राकृतिक तौर से प्राप्त दवाइयां

रसायनिक तरीके से बनने वाली दवाइयां

किसी भी रासायनिक दवा में रसायन या तो कार्य नहीं किया अकार्बनिक किया एक साथ मिश्रित होते हैं जो कि जटिल रासायनिक प्रतिक्रियाओं की एक श्रृंखला के बाद हमें दवाइयां प्राप्त होती है।

यह रासायनिक प्रतिक्रिया है विशाल प्रतिक्रिया बैंकों में होती है और इन्हें या तो गर्म किया जाता है या ठंडा किया जाता है। जिसके बाद इन्हें नियंत्रित तरीके से मिलाया जाता है। प्रतिक्रिया पूरी होने के बाद बचे हुए रसायन को अत्यधिक गर्म करके उबाला जाता है। प्रतिक्रिया के शेष उत्पाद को एक पाउडर या क्रिस्टल पदार्थ बनने तक ठंडा किया जाता है।

यह पाउडर या क्रिस्टल पदार्थ है जिसमें सक्रिय दवा घटक होते हैं जिसे अगले चरण दवा निर्माण के लिए आगे बढ़ाया जाता है। दवा निर्माण में सक्रिय संगठन को पानी और बाइडिंग एजेंटों के साथ एक बड़े मिक्सर में मिलाकर औषधि योगिक बनाया जाता है।

चुने हुए वितरण पद्धति के आधार पर इस मिश्रण को सिखाया जाता है और या तो गोलियों में संकुचित करके टैबलेट या कैप्सूल बनाया जाता है। क्रीम या जल के रूप में संचालित किया जाता है या फिर इसे इंजेक्शन में बोतल बंद करके औषधि के रूप में बाजार में उपलब्ध कराई जाती है।

प्राकृतिक तरीके से दवा निर्माण की प्रक्रिया

इस तरीके का इस्तेमाल हम लोग कई लाखों सालों से करते आ रहे हैं। इसलिए हम यह कह सकते हैं कि दवा की खोज मुख्य रूप से पेड़ पौधों से ही हुई है। प्राचीन मिस्र वासी अफीम को दर्द निवारक के रूप में इस्तेमाल करते थे।

वहीं भारत जैसे देश में दांत के दर्द एवं मुंह संबंधी बीमारियों के लिए नीम के पत्तों का इस्तेमाल किया जाता रहा है और वही हल्दी अपने एंटीसेप्टिक और एंटीबायोटिक गुणों के लिए इस्तेमाल होती रही है।

प्रकृति आज भी औषधि की खोज और विकास को प्रेरित करती है। पूरे स्रोत का उपयोग करने के बजाय हम पौधे के कुछ हिस्से का इस्तेमाल प्राकृतिक तौर पर दवा बनाने के लिए करते हैं। जैसे कि तुलसी के पत्तों का इस्तेमाल सर्दी खांसी की दवा बनाने के लिए किया जाता है। तो अदरक में अदरक की जड़ों का इस्तेमाल औषधि बनाने के लिए किया जाता है।

इस तरह से देखा जाए तो प्राकृतिक से प्राप्त होने वाली दवाइयां हमें विभिन्न पौधों के अलग-अलग हिस्सों से प्राप्त होती है। और इसी तरह से हम प्राकृतिक तौर पर दवा बनाते हैं।

दवा उत्पाद कैसे बनाया जाता है?

किसी भी दवाई को बनाने के लिए बहुत लंबी प्रक्रिया होती है। चलिए हम इसे एक उदाहरण द्वारा समझते हैं इसके लिए हम एक साधारण से दवाई जिसके बारे में शायद आपको जानकारी होगी पेनिसिलिन ही ले लेते हैं? पेनिसिलिन को कैसे बनाया जाता है? इसकी पूरी प्रक्रिया हम नीचे जानते हैं।

 

 

 

 

 

 

 

 

पेनिसिलिन कैसे बनाया जाता है?

पेनिसिलिन वास्तव में एक कवक से प्राप्त एंटीबायोटिक होती है जो पेनिसिलिन को अपने डीएनए में को कोडित करने की क्षमता रखता है। DNA को काट कर के एक सामान्य रूप से उपलब्ध और कम रखरखाव वाले जीवाणु के डीएनए में डाला जाता है जिससे कि E.coli कहते हैं जो कि हमारे मल में पाए जाते हैं।

बैक्टीरिया को तब संवर्धित किया जाता है, जिसका मतलब होता है एक प्रतिक्रिया टैंक के अंदर थोक में उगाए गए बैक्टीरिया। एक बार जब वे पेनिसिलिन का उत्पादन शुरू कर देते हैं तो इसे अलग करके निकाल लिया जाता है और फिर फिल्टर किया जाता है ताकि शुद्ध पेनिसिलिन प्राप्त हो सके। बाद में इसे गोलियों या कैप्सूल के रूप में बाजार में उपलब्ध कराया जाता है।

ठीक इसी तरह से प्रयोगशाला में निर्मित कृत्रिम इंसुलिन एक ऐसी दवा है जिसका इस्तेमाल मधुमेह रोगियों में रक्त शुगर लेवल को कम करने के लिए इस्तेमाल किया जाने वाला हार्मोन होता है।

ठीक इसी तरह पौधे से कुनैन सिनकोना ऑफिसिनैलिस पौधे से प्राप्त दवा का एक उदाहरण है जिसका इस्तेमाल मलेरिया जैसी बीमारियों के इलाज के लिए किया जाता है। आपको भी कभी ना कभी मलेरिया बीमारी हुई होगी मलेरिया बीमारी के लिए आपने हाइड्रोक्सी क्लोरी क्वीन नाम की टेबलेट के बारे में तो जरूर सुना होगा।

इस पौधे की छाल को पीसकर चूर्ण बनाने से पहले पूरी तरह से सूखा लिया जाता है कुनैन को फिर सूखी छाल के पाउडर से निकाला जाता है और शुद्ध किया जाता है इस तरह से इस टैबलेट को बनाया जाता है।

दवाइयां बनाने की प्रक्रिया

दवाइयां बनाने की प्रक्रिया उतनी भी आसान नहीं है जितना कि हम समझते हैं। इन दवाइयों को बनाने में लंबे समय का शोध एवं कई सारी प्रतिक्रियाओं से गुजरने के बाद हमें दवाइयों का आखिरी उत्पाद प्राप्त होता है।

वर्तमान समय में हम अत्याधुनिक तकनीकों का इस्तेमाल करके दवाइयां बना रहे हैं इसमें हम कंप्यूटर के सहायता भी ले रहे हैं। कंप्यूटर की मदद से हम दवाइयों के नई मॉडल बनाने में मदद मिल रही है जिनमें संरचनाएं होती है जो दवा को अपने लक्ष्य से बांधना आसान बनाती है। कंप्यूटर में इसके लिए जिस प्रोग्राम का इस्तेमाल किया जाता है उसे कंप्यूटर ऐडेड ड्रग डिजाइन (CADD) कहते हैं।

शोध नए और बेहतर तकनीकों का इस्तेमाल करते हुए हम रासायनिक तरीके एवं प्राकृतिक तौर पर प्राप्त औषधियों का इस्तेमाल करते हुए दवाइयां बनाने में मदद लेते हैं। लेकिन इतनी लंबी शोध कार्य एवं कई सारी प्रतिक्रिया करने के बाद भी जो अंतिम उत्पाद हमें दवाई के रूप में मिलता है इसकी सफलता की संभावना भी हमेशा नहीं रहती है। यही वजह है कि कुछ दवाइयों की कीमत काफी ज्यादा होती है। वर्तमान समय में दवाओं के विकास में 90% तक विफलता दर पूरे विश्व भर में दर्ज किया गया है। यानी कि हम जो दवाएं बड़ी-बड़ी फैक्ट्रियों और मेडिकल साइंस के क्षेत्रों में बनाते हैं उसमें से केवल 10% दवाइयां ही कारगर साबित होती है। हम यह उम्मीद कर सकते हैं कि आने वाले भविष्य में हम और बेहतर दवाइयां बना पाएंगे और अपनी विफलता के दर को और नीचे तक ला पाने में सक्षम हो पाएंगे।

 

 

 

 

 

 

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biodiesel क्या है in Hindi

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पेट्रोल और डीजल के दाम आसमान छूने को है। ऐसे में पूरी दुनिया में इनके विकल्प की तलाश की जा रही है। बायोडीजल भी एक विकल्प है। जिसकी सहायता से हम अपने वाहनों को चला सकने में सक्षम हो पाएंगे। आज केh हमारे इस लेख में हम इसी बारे में जानकारी लेंगे की What is biodiesel? बायोडीजल क्या है? (What is biodiesel? बायोडीजल क्या है?)? बायोडीजल क्या है?बायोडीजल (Biodiesel) सीधे वनस्पति तेल, पशुओं के वसा, तेल और खाना पकाने के अपशिष्ट तेल से उत्पादित किया जा सकता है। इन तेलों को बायोडीजल में परिवर्तित करने के लिए प्रयुक्त प्रक्रिया को ट्रांस इस्टरीकरण कहा जाता है। इसीलिए लोग बायोडीजल को पारंपारिक जीवाश्म इंधन के स्थान पर एक वैकल्पिक ईंधन मानते हैं। भारत का पहला बायोडीजल संयंत्र आस्ट्रेलिया के सहायता से काकीनाडा (SEZ) मे स्थापित किया गया है। बायोडीजल को 100% नवीकरणीय स्रोतों से बनाया जाता है। बायोडीजल पारंपारिक या जीवश्म डीजल के समान एक वैकल्पिक ईंधन माना जाता है। बायोडीजल का उत्पादन सीधे वनस्पति तेल, पशु तेल, वसा, लोगों और अपशिष्ट खाना पकाने के तेल से किया जा सकता है। इन तेलों को बायोडीजल में बदलने की पूरी प्रक्रिया को Transesterification कहा जाता है। बायोडीजल बनाने के लिए मुख्यता रेप सीड, ताड़ या सोयाबीन जैसे तेल फसलो का इस्तेमाल किया जाता है। अमेरिका जैसे देशों में रेपसीड का इस्तेमाल बायोडीजल बनाने के लिए सबसे ज्यादा किया जाता है। वर्तमान समय में उत्पादित अधिकांश बायोडीजल का उत्पादन रेस्टोरेंट, खाद्य पदार्थ की दुकान, औद्योगिक खाद उत्पाद जैसे कारखानों से प्राप्त अपशिष्ट वनस्पति तेल से किया जाता है।

 

 

 

 

biodiesel in Hindi

 

 

 

बायोडीजल से पर्यावरण प्रदूषण कम

बायोडीजल से वायु प्रदूषण काफी कम होता है। इसलिए ज्यादातर लोग इसे कार्बन न्यूट्रल इंधन के रूप में परिभाषित करना पसंद करते हैं। इसका मतलब यह है कि इंधन कार्बन डाइऑक्साइड (CO2) का उत्पादन इंधन के रूप में करने पर नहीं करता है। यह प्रभाव इसलिए होता है क्योंकि जब तेल की फसल बढ़ती है तो यह उतनी ही मात्रा में कार्बन डाइऑक्साइड और शोषित करती है जितनी इंधन दहन के समय निकलती है।

लेकिन हम इसे पूरी तरह से सही नहीं मान सकते क्योंकि जिन खेतों में तेल की फसल उगाई जाती है। उन्हें खाद देने के लिए आवश्यक उर्वरक के उत्पादन के दौरान कार्बन डाइऑक्साइड गैस निकलती है। उर्वरक उत्पादन बायोडीजल के उत्पादन से जुड़े प्रदूषण का एकमात्र स्रोत नहीं है।

अन्य स्रोतों में से एस्टेरिफिकेशन प्रक्रिया प्रक्रिया, तेल के प्रसाधन के दौरान बिजली के रूप में या इंधन से ऊर्जा इनपुट की आवश्यकता होती है। उस दौरान भी कार्बन डाइऑक्साइड गैस की कुछ मात्रा अवश्य रूप में निकलती है। इसे देखते हुए हम यह कह सकते हैं कि बायोडीजल से वायु प्रदूषण इंधन के रूप में इस्तेमाल करने पर ना के बराबर तो होता है। लेकिन, बायोडीजल के प्रसाधन के दौरान कुछ मात्रा में ग्रीन हाउस गैसें भी निकलती है जो हमारे पर्यावरण को प्रदूषित करते हैं। लेकिन, इसका प्रतिशत काफी कम है।

 

 

 

 

 

बायोडीजल कैसे बनाया जाता है?

ग्रीन हाउस गैस उत्सर्जन के कारण ग्लोबल वार्मिंग को बढ़ाने वाले जीवाश्म ईंधन के उपयोग से बचने के लिए, अन्य प्रकार के वैकल्पिक ऊर्जा स्रोतों जैसे नवनीत अरनिया ऊर्जा जैसे कि हम उन्हें जानते हैं पर अधिक से अधिक शोध और विकास किया जा रहा है। जैव इंधन से ऊर्जा जैसे बायोडीजल, जैविक पदार्थ से प्राप्त एक अक्षय ऊर्जा स्रोत है जो जीवाश्म ईंधन की जगह ले सकता है।

बायोडीजल या फैटी एसिड मिथाइल एस्टर (FAME) को विभिन्न प्रकार के तेल और वसा से एस्टेरिफिकेशन प्रक्रिया के माध्यम से बनाया जाता है। इसे बनाने के लिए रेप सीड, सूरजमुखी, सोयाबीन का तेल और अखरोट जैसे कुछ जैविक पदार्थों का इस्तेमाल किया जाता है।

जैविक पदार्थों से तेल निकालने की प्रक्रिया से बायोडीजल बनाने की प्रक्रिया शुरू होती है। यह प्रक्रिया औलीगिनस पौधे से तेल निकालने के साथ शुरू होता है। रिफायनिंग के बाद, मेथेनॉल और उत्प्रेरक जोड़कर के तेल को FAME या बायो डीजल में स्थानांतरित किया जाता है।

जीवश्म डीजल के समान ही बायोडीजल में भी वही गुण होता है। इसलिए बायोडीजल का इस्तेमाल हम उच्च प्रदर्शन करने वाले डीजल इंजन में भी कर सकते हैं। इसके अलावा, तरल ईंधन के रूप में इसके फायदों के अलावा इसका उपयोग गर्मी और ऊर्जा के उत्पादन के लिए भी किया जा सकता है। तथ्य यह है कि इस इंधन में पोली साइक्लिक एरोमेटिक हाइड्रोकार्बन नहीं होते हैं। इस वजह से हम वायु प्रदूषण को भी रोक सकते हैं। इस वजह से इसे नवीकरणीय और बायोड्रगेबल स्रोत के रूप में जाना जाता है।

 

 

 

 

 

 

बायोडीजल के इस्तेमाल के फायदे एवं नुकसान

एक तरफ तो यह स्पष्ट है कि जितने भी वाहन जो बायोडीजल का इस्तेमाल करती है उनसे कार्बन का उत्सर्जन बहुत ही कम होता है। वही इस तरह की फसलों को अधिक से अधिक उगाने के लिए वर्षा वनों को नष्ट किया जाता है जैसे कि इंडोनेशिया और ब्राजील में हो रहा है।

इन सब के बावजूद फिर भी यह सवाल खड़ा होता है तो बायोडीजल का इस्तेमाल क्यों फायदेमंद है। यूरोप जैसे देश में व्यापार पर नियंत्रण रखने के लिए यूरोपीय संघ ने उत्पादकों के लिए एक विशेष तरह का सर्टिफिकेट तैयार किया है। इसे उत्पादकों और व्यापारियों को जनवरी 2011 से पेश करना होगा। इस सर्टिफिकेट के जरिए यह सुनिश्चित किया जाएगा कि जब उत्पादक यूरोपीय संघ के देशों में कंपनी के साथ बिजनेस करना चाहते हैं तो उनके बायो इंधन यानी फ्यूल्स पर्यावरण को कोई भी किसी तरह का नुकसान ना पहुंचाती हो।

जीवश्म डीजल इंजन के पारंपारिक प्रदर्शन की तुलना में, बायोडीजल का उपयोग करना एक नुकसान कम बिजली की खपत ज्यादा है। सामान्य तौर पर 1 लीटर डीजल में हमें 9.300 किलो कैलोरी जूल्स ऊर्जा प्राप्त होती है। वही जबकि इतनी ही मात्रा में बायोडीजल में केवल 8.600 किलोकैलोरी जूल्स ऊर्जा मिलती है।

इस प्रकार के डीजल के समान ऊर्जा प्राप्त करने के लिए अधिक बायोडीजल की आवश्यकता होती है। दूसरी ओर विचार करने के लिए एक महत्वपूर्ण विशेषता ऑक्टेन संख्या है, जो जीवश्म डीजल में अधिक मात्रा में होती है। वही बायोडीजल में इसकी मात्रा कम होती है। किसी भी इंजन को ठीक-ठाक काम करने के लिए ऑक्टेन संख्या कम से कम 40 से अधिक होनी चाहिए।

ऑक्टेन संख्या जितना अधिक रहेगा किसी भी इंजन को शुरू करने के लिए उतनी ही आसानी होती है। बिना किसी मिसफायर के कम तापमान पर गर्म करने की अनुमति देता है। बायोडीजल में डीजल के समान एक ऑक्टेन नंबर होता है, इसीलिए इसे बिना किसी बड़ी असुविधा के आसानी से डीजल इंजन में वाहनों के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है।

इंधन के बारे में बात करते समय विचार करने के लिए एक और मुद्दा पर्यावरण पर उनका प्रभाव और संभावित संबंधित प्रभाव जो समाज को प्रेषित किया जा सकता है। इस मामले में यह कहा जा सकता है कि डीजल बायोडीजल मिश्रण के विकल्प या घटक के रूप में बायोडीजल का उपयोग या वातावरण में उत्सर्जित होने वाली प्रदूषण कारी गैस हो जैसे कि नाइट्रोजन ऑक्साइड या कार्बन डाइऑक्साइड को कम करने में मदद करता है।

 

 

 

 

 

 

बायोडीजल प्रदूषण को रोकता है

  • बायोडीजल, जीवाश्म डीजल की तुलना में हमारे वातावरण में कम हानिकारक गैस का उत्सर्जन करती है।
  • जीवाश्म इंधन का गाड़ियों में उपयोग होने से लगभग अधिक मात्रा में शुद्ध कार्बन मोनोऑक्साइड उत्सर्जित करता है। वही बायोडीजल का इंधन के रूप में इस्तेमाल किया जाने से शुद्ध कार्बन मोनोऑक्साइड के उत्सर्जन में 78% तक कमी आती है।
  • जब बायोडीजल को पारंपारिक जीवाश्म इंधन के साथ मिश्रित तैयार किया जाता है तो यह इसमें लुब्रिकेंट पर भी सुधार ले कर आता है।
  • यह पर्यावरण के लिए कासिम लाभकारी है।
  • बायोडीजल में किसी भी तरह का कोई सल्फर डाइऑक्साइड गैस का उत्सर्जन नहीं करती जिससे कि अम्लीय वर्षा का खतरा कम होता है।

 

 

 

 

 

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Celebrate Friendship Day क्यों मनाते हैं in Hindi

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हर साल अगस्त के महीने के पहले रविवार को पूरी दुनिया में फ्रेंडशिप डे मनाया जाता है? लेकिन, क्या आपने कभी सोचा है कि हम अगस्त के पहले रविवार को ही फ्रेंडशिप डे क्यों मनाते हैं? इसके पीछे का क्या इतिहास है? इसको मनाने के पीछे कौन सी रोचक तथ्य हैं? नहीं ना! , आज के हमारे इस लेख में हम इसी बारे में चर्चा करने वाले हैं, (Celebrate Friendship Day क्यों मनाते हैं in Hindi)  हम फ्रेंडशिप डे क्यों मनाते हैं? इसके पीछे का इतिहास क्या है? हमें से ज्यादातर लोग इस बारे में नहीं सोचते कि हमने फ्रेंडशिप डे की शुरुआत कैसे की? हम फ्रेंडशिप डे क्यों मनाते हैं? “जिंदगी में दोस्त काफी जरूरी होते हैं, क्योंकि इनके बिना जिंदगी अधूरी होती है”। ऐसा हम इसलिए कह रहे हैं क्योंकि दोस्ती का रिश्ता भले ही खून का रिश्ता ना हो, बल्कि यह रिश्ता किसी परिवारिक रिश्ते से कम भी नहीं होता है। हर साल अगस्त महीने के पहले रविवार को बैंक सिम दे पूरे विश्वभर में मनाया जाता है। इस साल 7 अगस्त को फ्रेंडशिप डे सेलिब्रेट किया जाएगा। फ्रेंडशिप के नाम से ही यह स्पष्ट होता है कि यह दिन दोस्ती के नाम पर समर्पित है। लेकिन क्या आप यह जानते हैं कि हम इस दिन को फ्रेंडशिप डे के रूप में क्यों मनाते हैं। क्या वजह है कि फ्रेंडशिप डे अगस्त के पहले रविवार को ही मनाया जाता है?

 

 

 

Celebrate Friendship Day in Hindi

 

 

 

 

 

अगस्त के पहले रविवार में फ्रेंडशिप डे मनाने की वजह

इतिहास की माने तो फ्रेंडशिप डे मनाने के पीछे काफी दिलचस्प कहानी है। यह कहानी है अमेरिका में साल 1935 के अगस्त के पहले रविवार को एक व्यक्ति की हत्या कर दी गई थी। कहा जाता है कि इस हत्या के पीछे अमेरिकी सरकार का हाथ था।

जिस व्यक्ति की हत्या की गई थी उसका एक बहुत ही अच्छा दोस्त था। अपने दोस्त की हत्या की सूचना मिलने के बाद उसका वह दोस्त काफी हताश और निराश हो गया था। यह खबर सुनने के बाद उसके दोस्त ने भी आत्महत्या कर ली थी।

अमेरिकी सरकार ने दोस्ती और लगाओ के इस रूप को देखकर अगस्त के पहले रविवार को फ्रेंडशिप डे (Friendship Day) के रूप में मनाने का घोषणा कर दीया। धीरे-धीरे यह चलन पूरी दुनिया भर में बढ़ता चला गया और आज दुनिया भर के हर हिस्से में अगस्त के पहले रविवार को फ्रेंडशिप डे मनाई जाती है।

Why do we celebrate Friendship Day? हम फ्रेंडशिप डे क्यों मनाते हैं?

कहा जाता है कि दोस्ती और पढ़ने का कोई उम्र नहीं होता अब जब चाहे तब अपने दोस्त बना सकते हैं। हर व्यक्ति का कोई ना कोई दोस्त होता है। फ्रेंडशिप डे को मनाने के पीछे की सबसे बड़ी वजह दोस्ती की भावना को बढ़ावा, विश्वास, एकजुटता और खुशहाली को प्रोत्साहित करना है।

फ्रेंडशिप डे जिसे मित्रता दिवस भी कहा जाता है। हर साल अगस्त के पहले रविवार को पूरी दुनिया में मनाया जाता है। इसके इतिहास के बारे में हम ऊपर पहले ही जिक्र कर चुके हैं। इसके अलावा इसे शुरू करने के पीछे ग्रीटिंग कार्ड उद्योग द्वारा पिछले बढ़ावा देना भी शामिल है।

फ्रेंडशिप डे जाने की मित्रता दिवस मनाने का सबसे पहला प्रस्ताव साल 1958 मे जायस हॉल द्वारा प्रस्तावित किया गया था। यह एक वैश्विक अवकाश के माध्यम से मित्रता के उत्सव को शामिल करने वाला अवकाश के रूप में एक छुट्टी का दिन था। जिसे 2 अगस्त की तारीख रखी गई थी। लेकिन बाद में संयुक्त राज्य अमेरिका में डिसिंक्रनाइजेशन के कारण स्थिति को बड़ा करके 7 अगस्त कर दिया गया।

उस दौरान फ्रेंडशिप डे मनाने के लिए दोस्त एक दूसरे को ग्रीटिंग कार्ड एवं शुभकामनाएं देते थे। लेकिन जैसे-जैसे इंटरनेट का प्रचार प्रसार हुआ तो विश्व के अन्य देशों में किस दिन को मित्रता के दिवस के रूप में मनाया जाने लगा।

लेकिन, पहली बार फ्रेंडशिप डे मनाने का विचार ” डॉक्टर रमन आर्टेमियो ब्रेकौ” द्वारा प्रस्तावित किया गया था। दरअसल दोस्ती के लिए आयोजित की गई इस बैठक में वर्ल्ड फ्रेंडशिप क्रूसेड को जन्म दिया आपको बता दें कि वर्ल्ड फ्रेंडशिप क्रूसेट एक ऐसी नींव है जो धर्म जाति रंग के आधार पर भेदभाव किए बगैर विश्व में मित्रता को बढ़ावा देती है।

 

 

 

 

 

 

 

फ्रेंडशिप डे का महत्व क्यों?

दोस्ती सबसे अच्छे रिश्ते में से एक है जो आप किसी के साथ भी कर सकते हैं। दोस्त हमेशा जरूरतमंद समय में मौजूद रहते हैं। जब आपको जीवन में सहायता की आवश्यकता हो तो वह आप के सबसे बड़े समर्थक और मार्गदर्शक होते हैं।

दोस्ती बिना शर्ट और बिना किसी बंधन के किसी से भी कर सकते हैं। इसलिए कहा जाता है कि दोस्ती का बंधन जाति, रंग भेदभाव से ऊपर होता है।

दुख के समय में दोस्त आपके साथ होते हैं आपकी मदद के लिए हमेशा आपके पास होते हैं। जिंदगी में आपके लिए लड़ते हैं, आप का समर्थन करते हैं और अक्सर सही रास्ते पर चलने के लिए आपका मार्गदर्शन भी करते हैं।

पूरी दुनिया में हर साल अगस्त के पहले रविवार को मित्रता दिवस मनाया जाता है। इस साल फ्रेंडशिप डे 7 अगस्त को मनाया जाना है। आप अपने दोस्तों के साथ मिलने का आनंद ले सकते हैं या अपने दोस्तों के साथ लंच पार्टी या पिकनिक का प्रोग्राम बना सकते हैं।

फ्रेंडशिप डे साल 2022 में उन सभी के जीवन में खुशियां फैलाने के लिए आज के दिन मनाया जाना है जो हमारे लिए दोस्ती के बंधन को खूबसूरत बनाते हैं। इस दिन, संयुक्त राष्ट्र अमेरिका में लोग एक दूसरे के बीच दोस्ती, सहयोग और समाज का पालन का आग्रह करते हैं।

अंतरराष्ट्रीय मित्रता दिवस कैसे मनाए?

फ्रेंडशिप डे मनाने के लिए किसी भी तरह का नियम और कानून नहीं है। आप जैसे चाहे वैसे अपने दोस्तों के साथ में फ्रेंडशिप डे मना सकते हैं। आप अपने दोस्तों को पार्टी दे सकते हैं। या फिर आप अपने दोस्तों के साथ किसी पिकनिक का प्लान भी कर सकते हैं।

आप अपने दोस्तों को फ्रेंडशिप डे के दिन में ग्रीटिंग कार्ड, गिफ्ट, इत्यादि चीजें देख कर के, फ्रेंडशिप डे मना सकते हैं।

अगस्त के महीना में मित्रता दिवस के अलावा हम और भी बहुत से दिवस मनाते हैं। जिस की सूची हम नीचे दे रहे हैं।

 

 

 

 

अगस्त के महीने में मनाए जाने वाले मुख्य दिवस

तारीख महत्वपूर्ण दिवसों की सूची
2 अगस्त अंतरराष्ट्रीय मित्रता दिवस
अगस्त का पहला रविवार मित्रता दिवस
3 अगस्त नाइजीरिया का स्वतंत्रता दिवस
6 अगस्त हिरोशिमा न्यूक्लियर बम गिराने के कारण हिरोशिमा दिवस
9 अगस्त भारत छोड़ो दिवस
12 अगस्त अंतरराष्ट्रीय युवा दिवस
14 अगस्त पाकिस्तान का स्वतंत्रता दिवस
15 अगस्त भारत का स्वतंत्रता दिवस
19 अगस्त विश्व फोटोग्राफी दिवस
29 अगस्त राष्ट्रीय खेल दिवस

 

 

 

 

 

 

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How Do 3D Glasses Work in Hindi 3डी चश्मा कैसे काम करता है?

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3D के बारे में ज्यादातर लोग तो जानते ही होंगे, 3D यानी कि त्रिआयामी तस्वीर जिसमें 3 कोनों से तस्वीर देखी जा सकती है। 3डी एक तरह की तस्वीर होती है हम 3 Dimensions तेरी तस्वीर देख पाते हैं। हमने अक्सर सिनेमाघरों में 3D मे बहुत सी फिल्में भी देखी है। वाकई 3डी में फिल्म देख कर के आपको भी काफी मजा आया होगा। आज के हमारे स्लिप में हम बात करने वाले हैं How Do 3D Glasses Work? – 3D चश्मा कैसे काम करता है? चाहे वह किसी पुराने घर की छाया हो, या कोई कूदता हुआ भूत, या हरे-भरे जंगल या फिर कोई दौड़ता हुआ डायनासोर, (How Do 3D Glasses Work in Hindi 3डी चश्मा कैसे काम करता है?) 3D में हमेशा यह सारी चीजें असली और काफी डरावनी भी लगती है। 3D सिनेमैटोग्राफी ने हमारी फिल्म या मूवी देखने के अनुभव को पूरी तरह से बदल कर रख दिया है। आजकल ज्यादातर फिल्में जो कि एक्शन से भरपूर और क्राइम थिलर फिल्में आप को 3डी में देखने को मिल जाएगी। इस तरह की फिल्मों को 3डी में देखने पर यह फिल्में और भी अधिक मजेदार और चीजें हमें वास्तविक लगने लगती है।c फिल्में और इस प्रकार 3D चश्मा का इस्तेमाल करते हुए हम 3डी फिल्में देख पाने में सक्षम होते हैं। लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि किस तरह से 3D चश्मे काम करते हैं? आज हम अपने इस लेख में इसी बारे में बात करने वाले हैं How Do 3D Glasses Work? – 3D चश्मा कैसे काम करता है?

How Do 3D Glasses Work? – 3D चश्मा कैसे काम करता है?

3डी में देखना, ज्यादातर आपके दिमाग को धोखा देना होता है। हम 3डी फिल्में देखने के लिए चश्मा का इस्तेमाल करते हैं। जो हमारी दिमाग को धोखा देता है, और ऐसा प्रतीत होता है कि तस्वीरें जीवंत हो करके हमारे सामने आ गई हो।

हम जो कुछ भी देखते हैं वह हमारी आंखों के जरिए हमारे मस्तिष्क तक पहुंचती है। हमारा मस्तिष्क हमारी आंखों से दो अलग-अलग चित्र प्राप्त करता है। इन तस्वीरों को एक दूसरे से बहुत कम मात्रा में स्थानांतरित किया जाता है और हमारा मस्तिष्क उन्हें एक छवि देखने के लिए विलीन कर देता है। इस तरह हमें हमारे दोनों अलग-अलग आंखों से दो अलग-अलग तस्वीर या छवि मिलती है, जिससे हमारा मस्तिष्क दोनों ही तस्वीरों के बीच अंतर पैदा कर देता है। जिससे कि 3D में दिखने वाली, फिल्म हमें जीवंत हमारे आंखों के सामने नजर आने लगती है।

इस प्रकार सिनेमाघरों में दिखाई जाने वाली फिल्में भले ही हमें सपाट स्क्रीन पर दिखाई गई हो लेकिन मस्तिष्क को दो अलग-अलग छवियां नजर आने लगती है जो एक दूसरे से थोड़ी मात्रा में स्थानांतरित हो जाती है ताकि या उन्हें मर्ज (Merge) कर सके और गहराई का प्रभाव पैदा कर सके।

यह प्रभाव हम 3D चश्मा के द्वारा प्राप्त करते हैं, फ्लैट स्क्रीन पर दिखाई जाने वाली 3D फिल्म में दो अलग-अलग छवियों को उनके दृष्टिकोण में थोड़ा बदलाव करके हमें दिखाया जाता है। 3D गोगल्स या चश्मा यह सुनिश्चित करता है कि हमारी दाहिनी आंख इनमें से एक छवि को देख सकें, जबकि हमारी बाईं आज दूसरी छवि को देख सकें।

इस तरह से इस इफ़ेक्ट के कारण हम 3D फिल्मों को जीवंत रूप में अपने आंखों के सामने देख पाते हैं। इस वजह से हमें यह ऐसा महसूस होता है कि फिल्मों में दिखाए जाने वाली संपूर्ण घटना जैसे हमारी आंखों के सामने हो रही हो।

3D चश्मा और फिल्में

3D तकनीक अब ना सिर्फ सिनेमा थिएटर तक सीमित है बल्कि यह हमारे मोबाइल फोन और घरों में भी आ चुका है। जैसे मार्केट में आज कई 3D टीवी और मोबाइल फोन उपलब्ध है। हम जब भी किसी थिएटर या सिनेमाघर में 3डी फिल्में देखने जाते हैं तो हमें 3D चश्मा दिया जाता है। जिसे पहनकर हम 3डी का मजा लेते हैं लेकिन कभी मूवी के बीच में 3डी चश्मा हटा करके आपने देखा है तो आपको सभी स्क्रीन धुंधला सा दिखाई देने लगता है क्या आप जानते हैं ऐसा क्यों होता है?

नीचे हम आपको एक 3D वीडियो की तस्वीर दिखा रहे हैं। अगर आप बिना चश्मे के 3डी फिल्में देखेंगे तो आपको कुछ इस तरह से नजर आएगा।

How Do 3D Glasses Work in Hindi

अगर आपने बिना चश्मा के इस मूवी को देखने की कोशिश की होगी तो 3डी में यह मूवी आपको कुछ इस तरह दिखाई दी होगी। वही 3D चश्मा के साथ या मूवी कुछ इस तरह दिखाई देती है जिसे हम एक तस्वीर के द्वारा नीचे दिखा रहे हैं।

 

 

 

 

 

बिना चश्मे के अवतार 3D मूवी

3D चश्मा एक तरह से एक प्रभाव पैदा करता है जिसकी वजह से 3D वीडियो और तस्वीरें हमें अपने ज्यादा करीब दिखाई देती है। 3D मूवी की स्क्रीन साधारण स्क्रीन से थोड़ी अलग होती है इसमें एक साथ हमें दो तस्वीरें दिखाई जाती है। यानी हमारी आंखें दो तस्वीरें देखती है लेकिन इन्हें आपस में जोड़ नहीं पाती, जिससे वह तस्वीरें धुंधली हो जाती है।

3D ग्लास या चश्मा दो तरह के कलर गिलास के बने हुए होते हैं। पहला लाल और दूसरा ब्लू यानी नीला रंग का बना होता है। जब हम कोई 3D वीडियो या मूवी देखते हैं तो यह चश्मा इमेज को हमारी दोनों आंखों में एक साथ दिखाई देता है। यानी हमारे मस्तिष्क को दो अलग-अलग इमेज एक साथ दिखाई देती है। जिससे कि हमें यह महसूस होने लगता है कि दिखाई जाने वाली चीजें जीवंत या रियलिस्टिक है।

Types of 3D Glasses – 3D चश्मा के प्रकार

हमने ऊपर आप सभी लोगों को इस बारे में जानकारी दी कि 3D चश्मा कैसे काम करता है। लेकिन, वह ऐसा कैसे कर पाते हैं? यह इस बात पर निर्भर करता है कि आप किस प्रकार के 3d चश्मा का इस्तेमाल कर रहे हैं।

3डी फिल्में देखने के लिए दो तरह के चश्मा या गिलास का इस्तेमाल किया जाता है। जोकि निम्नलिखित है :-

  1. एनाग्लिफ़ चश्मा (Anaglyph Glasses) इस तरह के चश्मे में नीला और लाल रंग का गिलास का इस्तेमाल होता है। इस चश्मे में एक तरफ नीला और दूसरी तरफ लाल गिलास होता है।
  2. ध्रुवीकृत चश्मा (Polarized Glasses) इस तरह के चश्मे में दोनों ही तरफ हल्का काला रंग या स्लेट रंग का गिलास होता है। इस तरह के चश्मों का इस्तेमाल हम आधुनिक 3डी फिल्में देखने के लिए करते हैं।

एनाग्लिफ़ चश्मा (Anaglyph Glasses) कैसे काम करता है?

इस तरह के चश्मे किससे काम करते हैं इसके बारे में हम पहले ही ऊपर आपको बता चुके हैं। जैसे कि पहले हमने उल्लेख किया है कि दो अलग-अलग इमेजेस जो कि एक दूसरे से थोड़ा सा स्थानांतरित दृष्टिकोण पर स्क्रीन पर दिखाई जाते हैं। एनाग्लिफ़ चश्मा (Anaglyph Glasses) के अंतर्गत दो तरह के गिलास लगे होते हैं जो कि नीला और लाल रंग का होता है। दो स्थानांतरित छवियां चश्मे के दो अलग-अलग रंगों में होनी चाहिए, यानी नीला और लाल। तभी हम किसी फिल्म को 3डी में देख पाने में सक्षम हो पाएंगे।

एनाग्लिफ़ चश्मा (Anaglyph Glasses)

इस ब्रा के 3डी चश्मे में, चश्मे का नीला हिस्सा केवल लाल रोशनी को अंदर आने देता है, जबकि चश्मे का लाल हिस्सा केवल नीली रोशनी को अंदर आने देता है।

इस तरह से इस चश्मे का इस्तेमाल करते हुए हमारे दिमाग को दो अलग-अलग इमेजेस मिलती है। जबकि बाकी प्रक्रिया हमारे मस्तिष्क द्वारा की जाती है। जिससे हमें ऐसा लगता है जैसे कि इस स्क्रीन पर दिखाई जाने वाली चीजे वाकई में हमारे आंखों के सामने हो रही है।

ध्रुवीकृत चश्मा (Polarized Glasses) कैसे काम करता है?

जैसा कि हमने ऊपर यह जानकारी ली है कि Anaglyph चश्मा कैसे काम करता है? इस चश्मे के काम करने का तरीका सीधा और साधारण है। साथ में स्क्रीन पर दिखाई जाने वाली इमेजेस एक निश्चित रंग की होनी चाहिए यह जरूरी होता है। इसलिए चित्र की गुणवत्ता और रंगों के साथ समझौता किया जाता है।

लेकिन, आधुनिक 3D चश्मा प्रकाश के ध्रुवीकरण के रूप में जानी जाने वाले किसी चीज का उपयोग करते हैं। आधुनिक 3D ध्रुवीकृत चश्मा (Polarized Glasses) एक तस्वीर आप नीचे देख सकते हैं।

ध्रुवीकृत चश्मा (Polarized Glasses)

प्रकाश का ध्रुवीकरण क्या होता है?

प्रकाश और कुछ नहीं बल्कि विद्युत चुंबकीय और विद्युत क्षेत्र की एक लहर होती है। यदि विद्युत घटक वर्टिकल डायरेक्शन (Vertical direction) मैं दोलन करती है तो तरंग का चुंबकीय घटक होरिजेंटल डायरेक्शन (Horizontal direction) के अंतर्गत चलेगी। जिसका मतलब यह होता है कि यह हमेशा एक दूसरे के लंबवत होते हैं।

जैसा कि आप नीचे दिए गए तस्वीर में देख सकते हैं।

How Do 3D Glasses Work in Hindi

 

 

 

 

 

जैसा कि आप ऊपर दिए गए तस्वीर में देख सकते हैं कि विद्युतीय घटक किसी भी दिशा में हो सकता है। लेकिन चुंबकीय घटक इसके साथ लंबवत होता है। विद्युत एक घटक को केवल एक ही दिशा में दोलन करने की आवश्यकता होती है। अधिक सटीक होने के लिए प्रकाश के विद्युतीय घटक को केवल एक दिशा में दोलन करने का अर्थ है इससे रैखिक से ध्रुवीकरण करना, जिससे हम रैखिक ध्रुवीकरण कहते हैं।

अब मान लीजिए कि हम इस रैखिक रूप से ध्रुवित प्रकाश को मंडिलियों में घुमाना शुरू करते हैं तो यह एक वृत्ताकार ध्रुवीकृत प्रकाश बन जाएगा। इस प्रकार से बने प्रकाश में दो प्रकार के प्रकाश हो सकते हैं। एक जो दक्षिणावर्त घूमता है और दूसरा घड़ी की दिशा में घूमता है।

ध्रुवीकृत चश्मा (Polarized Glasses) के लिए वृत्ताकार ध्रुवीकरण का इस्तेमाल कैसे किया जाता है?

साधारण तौर पर हमें जहां 3D चश्मा Non-Polarized पर दो अलग-अलग रंगों में तस्वीरें दिखाई दे रही थी। अब गोल कार ध्रुवी कृत प्रकाश की विपरीत उन्मुखीकरण के साथ हम ध्रुवीकृत चश्मा (Polarized Glasses) की मदद से 3डी फिल्में देख पाते हैं। इस तकनीकी में हमें एक ही रंग में फिल्में दिखाई जाती है, फिर भी वे दो अलग-अलग छवियों के रूप में कार्य करते हैं।

ध्रुवीकृत 3D चश्मा, इन गोलकार ध्रुवीकृत इमेजेस के लिए काम करता है। चश्मे का एक भाग केवल गोलकार दक्षिणावर्त वृत्ताकार ध्रुवित प्रकाश से गुजरता है, जबकि दूसरा भाग केवल दक्षिणावर्त वृत्ताकार ध्रुवीकृत प्रकाश को अवशोषित कर के उस से गुजरता है।

इस तरह हमारी आंखें दो अलग-अलग इमेजेस प्राप्त करती है और हमारा मस्तिष्क एक बाद में फिर से बाकी काम गहराई का प्रभाव पैदा करने के लिए करता है। जिससे हमें 3डी फिल्में रियलिस्टिक रूप में दिखाई देने लगती है।

निष्कर्ष

आज के हमारे इस लेख में हमने आप सभी लोगों को इस बारे में जानकारी उपलब्ध कराई है कि, How Do 3D Glasses Work? – 3D चश्मा कैसे काम करता है? थोड़ी स्थानांतरित छवियों का उपयोग करके गहराई का प्रभाव पैदा किया जाता है जो इसे हमारी आंखों से दो अलग-अलग छवि के रूप में हमारे मस्तिष्क तक भेजी जाती है। थ्रीडी चश्मा सिर्फ यह सुनिश्चित करता है कि हमारी आंखें फ्लैट स्क्रीन से इन दोनों इमेजेस को अलग-अलग तरह से प्राप्त करें और मस्तिष्क को एक गहरा प्रभाव बनाने के लिए छल करे जो वास्तव में स्क्रीन पर मौजूद नहीं होता है।

इस तरह से हम 3D चश्मे की मदद से किसी भी इमेजेस या मूवी को जीवंत या रियलिस्टिक रूप में देख पाने में सक्षम होते हैं। हमें उम्मीद है कि आपको आज का हमारा यह लेख पसंद आया होगा। इससे संबंधित अगर आपकी कुछ सवाल एवं सुझाव है तो आप हमें कमेंट बॉक्स में कमेंट करके बता सकते हैं।

 

 

 

 

 

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What Causes Thunder and Lightning ( किस वजह से बिजली चमकते और गरजते हैं?)

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यह आम बात है बरसात के मौसम में बिजली के चमकने और गड़गड़ाहट की आवाज आपने भी सुनी होगी। लेकिन इसके पीछे की क्या वजह है? इसके बारे में क्या आपने कभी सोचा है? विज्ञान बिजली की गड़गड़ाहट और चमकने के पीछे क्या कारण हो सकता है? आज के हमारे इस लेख में हम इसी बारे पर चर्चा करने वाले हैं कि (What Causes Thunder and Lightning ( किस वजह से बिजली चमकते और गरजते हैं?) ) किस वजह से बिजली चमकते और गरजते हैं? आमतौर पर बिजली का चमकना और उसकी गड़गड़ाहट प्राकृतिक रूप से दुनिया भर में होती है। जब भी जोर से बारिश या तूफान आने की संभावना होती है तो बिजली जोर से गड़गड़ाहट की आवाज के साथ तेज रोशनी आसमान में चारों तरफ बिखेर देता है। बिजली का गर्जना एक प्राकृतिक घटना है। लेकिन इन सबके बावजूद भी हम मे बहुत सारे लोग इस बारे में नहीं जानते हैं कि बिजली कैसे गरज करके चमकती है? आज के हमारे इस लेख में हम इसी बारे में चर्चा करेंगे और यह जानने की कोशिश करेंगे कि बिजली क्यों चमकती है? इसके पीछे का विज्ञान में क्या कहता है?

 

 

 

 

What Causes Thunder and Lightning ( किस वजह से बिजली चमकते और गरजते हैं?)

 

 

 

 

 

What Causes Thunder and Lightning? किस वजह से बिजली चमकते और गरजते हैं?

बादलों की बिजली का चमकना तब शुरू होता है एक जब किसी तरह का तूफान उठता है। आसमान में बादलों के बीच वातावरण आस्थिर असामान्य होता है। आसमान में जहाज ठंडी हवा और गर्म हवा आपस में मिलती है। गर्म हवा ऊपर उठती है और जैसे ही ठंडी हवा के पास पहुंचती है, यहां पानी के बूंदों के रूप में बदल जाती है। इस पूरी प्रक्रिया को संवहन कहा जाता है।

ऊपर आसमान में तापमान और वातावरण एकदम से असामान्य होता है इस चलते कभी वहां का तापमान गर्मी के वजह से भर जाता है तो कभी काफी ठंडा भी हो जाता है। इस वजह से बारिश की बूंदे कभी-कभी बर्फ के रूप में भी बदल जाती है।

गर्म हवा का अपड्राफ्ट इतना तेज होता है कि यह Comulonimbus बादल बनाना शुरू कर देता है। इस तरह के बादल को आमतौर पर गरजने वाले बादल के रूप में जाना जाता है। इस तरह के बादल से ओलावृष्टि, गरज और प्रकाश का कारण बनता है।

आकाश में अत्यधिक बिजली चमकने के पीछे का कारण यह Comulonimbus Cloud ही होते हैं। यह तब होता है जब सभी जमीन में पानी के छोटे छोटे कान बहुत तेज गति से बादलों के अंदर चारों तरफ घूमने लगते हैं और एक दूसरे से टकराते हैं। इस वजह से इन बादलों की बूंदों द्वारा विद्युत आवेश पैदा होता है। जब यह बादल आपस में टकराते हैं तो विद्युत आवेश के चलते जोर से गड़गड़ाहट की आवाज और बिजली और रोशनी आकाश में चमकती हुई दिखाई देती है।

एक बार जयपुर विद्युत आवेश बादल में निर्मित हो जाता है तो धनात्मक प्रोटोन बादल के शीर्ष पर बनते हैं और ऋण आत्मक प्रोटोन नीचे एकत्रित हो जाते हैं। बिल्ड अप सकारात्मक रूप से चार्ज हो जाता है और इसे जोड़ने की आवश्यकता होती है। जिससे गरज के साथ बारिश होती है।

 

 

 

 

 

 

बिजली क्या होता है?

आकाश में बादलों के बीच तेज गड़गड़ाहट के साथ रोशनी की बौछार हमें देखने को मिलती है। इसे ही आसमानी बिजली कहते हैं।

जब प्रोटोन बादल में बनते हैं तो वे अपने चारों ओर विपरीत आवेशित प्रोटोन को आकर्षित करते हैं। बादलों में मौजूद धनात्मक आवेशित कण अपने नीचे मौजूद ऋण आत्मक आवेशित कण को आकर्षित करते हैं। इस वजह से उनके बीच में टकराव होता है। इस टकराव के कारण हमें आसमान में आसमानी बिजली चमकते हैं और गढ़ गढ़ आते हुए नजर आती है।

जब यह बिजली आसमान में चमकती है तो यह अपने आप को नकारात्मक कण में बदलने के लिए धरती पर गिरती है। यह ठीक वैसा ही है जैसा कि आप एक स्थिर झटके का अनुभव करते हैं।

आसमान में बिजली की गड़गड़ाहट क्यों होती है?

थंडर (Thunder) या बिजली की गड़गड़ाहट के बारे में हमने पहले ही ऊपर थोड़ी बहुत जानकारी दी है। आसमान में जब दो तरह के बादल जिनमें से एक धनात्मक आवेशित होता है और दूसरा ऋण आत्मक आवेशित होता है। इस तरह के बादल एक दूसरे को अपनी तरफ आकर्षित करते हैं। जब इन बादलों के बीच में टकराव होता है तो थंडर या गड़गड़ाहट की आवाज के साथ रोशनी की बौछार बादलों के बीच में होती है।

साधारण एवं सामान्य शब्दों में कहे तो गड़गड़ाहट बिजली द्वारा निर्मित कंपनी की आवाज होती है। बादलों में आवेशित ऋण आत्मक और धनात्मक आवेशित कण की मात्रा बहुत ज्यादा होती है। दोनों की टकराने पर बहुत ही ज्यादा मात्रा में ऊर्जा का निर्वाहन होता हैं। इस वजह से बिजली के चमकने पर तेज रोशनी के साथ जोर से कंपन या गड़गड़ाहट की आवाज पैदा होती है।

बिजली की गड़गड़ाहट या कंपन की ध्वनि तरंगों के रूप में हमारे कानों तक पहुंचते हैं। इसके परिणाम स्वरूप हमें एक गड़गड़ाहट की आवाज सुनाई देती है। अगर आप बिजली गिरने वाली जगह से काफी करीब है तो आपको दरार या चाबुक की आवाज सुनाई दे सकती है।

 

 

 

 

 

 

आसमान में बिजली चमकते समय हमें रोशनी पहले दिखाई देता है गड़गड़ाहट की आवाज बाद में ऐसा क्यों?

तूफानी मौसम में जब भी हम आसमान की तरफ देखते हैं तो हमें आकाश में चमकते हुए बिजली दिखाई देती है। लेकिन, बिजली की गड़गड़ाहट की आवाज हमें कुछ सेकंड बाद सुनाई देती है। ऐसा क्यों है?

ऐसा इसलिए है क्योंकि बिजली या रोशनी की गति ध्वनि की तुलना में काफी अधिक होती है। इसीलिए आसमान में जब भी बिजली चमकती और गड़गड़ाहट आती है तो पहले हमें रोशनी नजर आती है। उसके बाद हमें ध्वनि या कंपन की आवाज सुनाई देती है।

प्रकाश तरंगें काफी तेज गति से भी आशा करती है इसलिए हमें गड़गड़ाहट सुनने से पहले आसमान में रोशनी का फ्लैशलाइट नजर आता है।

लोगों के बीच में कई सारे मिथक भी है जैसे कि अगर आप बिजली की चमक ने और गरजने के बीच का समय गिरेंगे तो आप यह बता सकते हैं कि तूफान कितनी दूर है? लेकिन ऐसा बिल्कुल भी नहीं होता? यह मिथक सरासर गलत है।

दुनिया में सबसे ज्यादा बिजली कहां गिरती है?

इस सवाल के जवाब मे हम दोनों ही सवालों का जवाब देने वाले हैं पहला यह कि दुनिया में सबसे ज्यादा बिजली कहां गिरती है? और दुनिया में सबसे ज्यादा बिजली चमकने की घटना कहां होती है?

हम आपको यह बता दें कि पृथ्वी पर सबसे ज्यादा बिजली चमकने और गरजने वाले अस्थान के रूप में भूमध्य रेखा पर स्थित स्थलों के बीच में होता है। ऐसा इसलिए है क्योंकि भूमध्य रेखा के सात जलवायु के कारण गर्म और ठंडी हवाएं दोनों ही अधिक रहती है।

इस कारण से उत्तरी और दक्षिणी दोनों ध्रुवों पर आंधी तूफान का अनुभव करना बहुत ही आसानमान्य बात है। भूमध्य रेखा को पृथ्वी पर सबसे स्थिर स्थान के रूप में जाना जाता है। भूमध्य रेखा पर ही स्थित अलग-अलग स्थल पर सबसे ज्यादा बिजली गिरने की घटनाएं होती है।

मध्य अफ्रीका में कांगो लोकतांत्रिक गणराज्य को गरज के साथ बिजली चमकने कि राजधानी के रूप में जाना जाता है। क्योंकि यहां अत्यधिक मात्रा में बिजली चमकने और गिरने की घटनाएं होती है। कांगो के पहाड़ी गांव कीफुका मैं हर साल औसतन 160 बार बिजली चमकती है जो कि 247 एकड़ में गिरती है।

इसके अलावा उच्च स्तर की आंधी और तूफान का अनुभव करने वाले अन्य स्थान में वेनेजुएला और भारत का नंबर आता है।

 

 

 

 

 

 

विश्व में बिजली गरजने और सबसे खूबसूरत बिजली गिरने की घटना कहां होती है?

केवल भूमध्य रेखा पर ही नहीं पृथ्वी पर ऐसे और भी बहुत से जगह है जहां गरज और गड़गड़ाहट और रोशनी के साथ काफी उच्च मात्रा में बिजली चमकने की घटना होती है। लेकिन दुनिया में एक ऐसी भी जगह है जहां पर बिजली गिरने और चमकने की घटना के लिए मशहूर है।

वेनेजुएला स्थित माराकईबो झील में हर साल औसतन 247 एकड़ वर्ग किलोमीटर में 250 बार बिजली चमकने और गिरने की घटना होती है। इस घटना को प्राकृतिक घटना कैटाटुंबो बिजली या माराकईबो बीकन के रूप में जाना जाता है।

यह एक ऐसी जगह है जहां पर दो नदियां म्हाराकईबो और कैटाटुंबो नदी आपस में मिलती है। हर साल लगभग 260 तूफान यहां पर आते हैं। माराकईबो झील के नाम सबसे ज्यादा बिजली गिरने का गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड इन है। अक्टूबर के महीने में इस झील में हर मिनट 28 बिजली चमकने की घटना होती है।

 

 

 

 

 

निष्कर्ष

आज के हमारे इस लेख में हमने आप सभी लोगों को इस बारे में जानकारी उपलब्ध कराने की कोशिश की है कि What Causes Thunder and Lightning? किस वजह से बिजली चमकते और गरजते हैं? इसके अलावा हमने बिजली गिरने के विभिन्न पहलुओं के बारे में भी अपने इस लेख में चर्चा किया है।

गड़गड़ाहट के साथ बिजली का चमकना एक प्राकृतिक घटना है जो ज्यादातर आद्रता भरी जलवायु वाले क्षेत्रों में अधिक देखने को मिलती है। यह एक ऐसी घटना है जो दुनिया भर में हर जगह होती है। बिजली वातावरण में तनाव के कारण निर्माण होने वाली एक रोशनी या झटका है, और गड़गड़ाहट बिजली गिरने पर उत्पन्न होने वाली तेज आवाज या कंपन को कहते हैं।

दोस्तों उम्मीद करता हूं कि आज का हमारा यह लेख आप सभी लोगों को पसंद आया होगा। इससे संबंधित अगर आप के कुछ सवाल एवं सुझाव है तो आप हमें कमेंट बॉक्स में कमेंट करके बता सकते हैं।

 

 

 

 

 

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What is Metabolism in Hindi (मेटाबॉलिज्म क्या है)

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हम अक्सर यह बात सुनते आ रहे हैं कि मेटाबॉलिज्म (Metabolism) हमारे शारीरिक क्रियाओं में बहुत ही महत्वपूर्ण भूमिका अदा करता है। मेटाबॉलिज्म आपके शरीर के अंदर होने वाली अनगिनत रासायनिक प्रतिक्रियाओं को संदर्भित करता है। यह आप को जीवित रखने के लिए आवश्यक है। किसी भी जीवित जीव मे जैविक प्रतिक्रिया जोशी की, पाचन, प्रजनन, गति, और सांस लेना जैसी सभी क्रियाएं मेटाबॉलिज्म (Metabolism) का हिस्सा ही है। आज के हमारे इस लेख में हम इस बारे में जानकारी लेंगे की What is Metabolism? – मेटाबॉलिज्म क्या है? इसके साथ ही हम इस बारे में भी जानकारी लेंगे कि हम अपने शरीर में मेटाबॉलिज्म कैसे बढ़ा सकते हैं? हमारे शरीर में मेटाबॉलिज्म की क्रियाओं के लिए बहुत अधिक ऊर्जा की आवश्यकता होती है। हालांकि, आपके शरीर में एनर्जी चालू रूप से चलाने के लिए इतनी ऊर्जा प्राप्त करने के लिए बहुत अधिक समय लगता है। हमारे शरीर में एंजाइम्स नामक इन प्रतिक्रियाओं के लिए एक चीट कोड होते हैं। यह छोटे अनु इन जैविक रसायनिक प्रतिक्रियाओं को कितनी ऊर्जा की आवश्यकता है इससे कम करने का काम करते हैं। जिस से भी तेजी से आगे बढ़ते हैं। आगे बढ़ने से पहले चली हम यह जान लेते हैं कि What is Metabolism in hindi ? – मेटाबॉलिज्म क्या है?

 

 

 

 

What is Metabolism in Hindi (मेटाबॉलिज्म क्या है)

 

 

 

What is Metabolism? – मेटाबॉलिज्म क्या है?

मेटाबॉलिज्म (Metabolism) जिसे हिंदी में उपापचय भी कहते हैं। यह हमारे शरीर में होने वाली वह प्रक्रिया है जो शरीर के खानपान को ऊर्जा में बदलने का काम करती है। यह हमारे शरीर में होने वाले एक रासायनिक प्रक्रिया होता है। मेटाबॉलिज्म शरीर की कोशिकाओं में होने वाले रासायनिक प्रतिक्रिया है, जो भोजन को ऊर्जा में बदलती है।

यहां तक कि जब आप आराम कर रहे होते हैं या फिर सो रहे होते हैं, तब भी यह हमारे शरीर को अपने सभी कार्यों के लिए ऊर्जा की आवश्यकता की पूर्ति करता है। जैसे कि सांस लेना, रक्त संचार करना, हार्मोन के स्तर को बनाए रखना और कोशिकाओं को बढ़ाना और उनकी मरम्मत करना।

इन बुनियादी कार्यों को करने के लिए हमारे शरीर के जरिए इस्तेमाल की जाने वाली कैलोरी की संख्या को ही मेटाबॉलिज्म कहा जाता है।

What are the Types of Metabolic Processes? हमारे शरीर में मेटाबॉलिक प्रक्रियाओं के प्रकार

हमारे शरीर में दो तरह की मेटाबॉलिक प्रक्रियाएं होती है। जोकि निम्नलिखित है।

  • Anabolism – उपाचय
  • Catabolism – अपचय

What is Anabolism? उपाचय क्या है?

हमारे शरीर में अनाबॉलिज्म वह प्रतिक्रिया है जोकि मेटाबॉलिज्म में कोशिकाओं के निर्माण में सहायता करती है। प्रक्रिया के दौरान हमारे शरीर को ऊर्जा की पूर्ति होती है।

अनाबॉलिक प्रतिक्रिया हमारे शरीर में बायोमोलीक्यूलिस बनाते हैं जिन से हमारे शरीर को कार्य करने के लिए आवश्यक ऊर्जा की पूर्ति होती है। हमारा शरीर ऊर्जा को स्टोर करने के लिए भी इन बायो मॉलिक्यूल का इस्तेमाल करता है। अनाबॉलिक प्रतिक्रिया का एक बड़ा उदाहरण है कि यह हमारे शरीर के अंदर स्टोरेज के रूप में ग्लूकोज से ग्लाइकोजन बनाने का काम करता है। जिसे हमारा शरीर ऊर्जा के रूप में बाद में इस्तेमाल करता है।

 

 

 

 

 

 

What is Catabolism? अपचय क्या है?

कैटाबॉलिज्म हमारे शरीर में होने वाली जटिल यौगिक क्रियाओं को छोटी इकाइयों में जोड़ता है। जिसे हम एक उदाहरण के जरिए समझ सकते हैं। जैसे कि – आपको भोजन से मिलने वाला बड़ा प्रोटीन छोटे अमीनो एसिड में विभाजित हो जाता है।

कैटाबॉलिक प्रक्रिया है अक्सर ऊर्जा विमोचन करती है, जिसका मतलब यही कि टूटने से आपको ऊर्जा मिलती है।

Why is Metabolism Important? – हमारे शरीर में मेटाबॉलिज्म क्यों जरूरी है?

जैसा कि हम पहले ही इस बारे में जिक्र कर चुके हैं कि मेटाबॉलिज्म हमारे शरीर में बहुत सी रसायनिक प्रतिक्रियाओं को करती है। इसीलिए किसी भी जीवित जीव के लिए मेटाबॉलिज्म एक अनिवार्य हिस्सा है। मेटाबॉलिज्म हमारे शरीर के लिए बहुत ही जरूरी है। क्योंकि –

  1. यह हमारे शरीर में भोजन को तोड़ कर के उसे उर्जा में बदलती है।
  2. यहां विभिन्न योगिक को तोड़कर के ऊर्जा मुक्त करता है।
  3. यह हमारे शरीर में एनर्जी या ऊर्जा को स्टोरेज करके रखता है।
  4. यहां हमारे शरीर में आवश्यक कोशिका और अणुओं का उत्पादन करता है।
  5. यह हमारे शरीर से अपशिष्ट पदार्थ को बाहर निकालने का काम भी करता है।

 

 

 

 

 

 

 

मेटाबॉलिज्म हमारे शरीर में भोजन को तोड़कर के उर्जा में बदलती है :- किसी भी विधि जीव द्वारा खाए जाने वाले सभी पदार्थ जैसे कि रोटी, चिकन इत्यादि। मेटाबॉलिज्म के माध्यम से ही टूट कर के ऊर्जा का निर्माण करती है। यह आपके पाचन तंत्र में शुरू होता है। एंजाइम्स इन जटिल खाद्य पदार्थों को इकाइयों में तोड़ देते हैं। इसका मतलब यह है कि जटिल प्रोटीन अमीनो एसिड उत्पन्न करते हैं और कार्बोहाइड्रेट ग्लूकोज मे बदल जाते हैं, और लिपिड सरल वसा बनाते हैं। हमारा शरीर इन छोटी इकाइयों को अवशोषित करके रक्त के जरिए आपके लीवर और दूसरे उत्तक तक पहुंचता है और एनर्जी या ऊर्जा आपके शरीर को मिलती है।

मेटाबॉलिज्म के माध्यम से आपको ऊर्जा मिलती है :- भोजन को पचाने से आपको जितनी सरल खाद्य इकाइयां मिलती है, उसे उर्जा उत्पन्न करने के लिए आगे की प्रक्रिया की आवश्यकता होती है। आपके शरीर में मौजूद भोजन के पूर्ण विघटन के बाद पानी और कार्बन डाइऑक्साइड गैस बनता है।

वह आपके शरीर की ऊर्जा मुद्रा – ATP का भी उत्पादन करते हैं, जो मूल रुप से आपके शरीर की हर चीज को संचालित करने के लिए आवश्यक होती है।

मेटाबॉलिज्म आपके शरीर में ऊर्जा का भंडारण भी करता है :- मेटाबॉलिज्म आपके शरीर में अधिक ऊर्जा के साथ उसे भंडारण करने का काम भी करती है। आपका शरीर अतिरिक्त कैलोरी को ग्लाइकोजन या वसा के रूप में संग्रहित करता है। इस प्रक्रिया को करने के लिए अनाबॉलिक और कैटाबॉलिक प्रक्रिया आपके शरीर में होती है। समय आने पर इन्हीं भंडारण ऊर्जा का इस्तेमाल आपका शरीर करता है।

यह आपके शरीर में कोशिकाओं और अणुओं के विकास में भी मददगार है :- आपके शरीर को सही ढंग से कार्य करने के लिए कई अन्य प्रतिक्रियाओं के साथ-साथ कोशिकाओं के विकास में भी मेटाबॉलिज्म महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। आपके शरीर को आवश्यक कुछ महत्वपूर्ण अनु जैसे न्यूक्लिक एसिड, हार्मोन और एंजाइम बनाने में मदद करती है।

मेटाबॉलिज्म आपके शरीर से अपशिष्ट पदार्थ को दूर करने में मदद करता है :- आपके शरीर में कई प्रतिक्रियाएं होती है जिससे कि अपशिष्ट पदार्थ बनता है। जो आपके स्वास्थ्य को प्रभावित कर सकता है अगर वह लंबे समय तक आपके शरीर में रहे तो। लेकिन इन विषाक्त पदार्थों को निकालने के लिए आपके शरीर में मेटाबॉलिज्म की प्रक्रियाएं होती है।

उदाहरण के लिए – अमीनो एसिड के टूटने पर अमोनिया नामक एक विषैला पदार्थ बनता है, इसलिए आपका शरीर इसे यूरिया में बदल देता है तो जो काफी कम जरीला पदार्थ होता है। आपके शरीर में मेटाबॉलिज्म की प्रक्रिया ऐसे ही और भी जहरीले पदार्थों को कम विषाक्त पदार्थ में बदलने का काम भी करती है।

What is Metabolism Rate? – मेटाबॉलिज्म दर क्या है?

मेटाबॉलिज्म रेट से क्या मतलब है कि आपके शरीर द्वारा मेटाबॉलिज्म की प्रक्रिया कितनी दर हो रही है। अगर आपके शरीर में मेटाबॉलिज्म रेट अधिक होगा तो आपके अंदर एनर्जी भी ज्यादा होगी। इस वजह से आपको भूख भी ज्यादा लगेगी और आप मोटापे का शिकार भी नहीं होंगे।

वहीं अगर आपके शरीर की मेटाबॉलिज्म रेट अगर कम है तो आपको भूख भी कम लगेगी और आप सुस्त महसूस करेंगे। इस वजह से आपको मोटापे का शिकार भी हो सकते हैं। दूसरे एवं साधारण शब्दों में कहें तो मेटाबॉलिक रेट से तात्पर्य है कि आप एक निर्दिष्ट अवधि के भीतर कितनी ऊर्जा का उपयोग कर रहे हैं।

 

 

 

 

 

 

How do You Increase Your Metabolism? आप अपना मेटाबॉलिज्म कैसे बढ़ा सकते हैं?

अगर आपके शरीर में मेटाबॉलिज्म का संतुलन सही नहीं है तो यह आपके शरीर को प्रभावित कर सकता है। जब आपका मेटाबॉलिक रेट बढ़ जाता है तो आप ज्यादा कैलोरी का इस्तेमाल करते हैं और आप मोटापे से दूर रहते हैं।

वहीं दूसरी तरफ अगर आपका मेटाबॉलिक रेट धीमा है तो आप स्वस्थ महसूस करेंगे और आपका वजन भी बढ़ सकता है। यहां तक कि अगर मेटाबॉलिक रेट अगर आपका काम है तो आपको भूख भी कम लगती है। अब सबसे बड़ा सवाल यह है कि क्या आप अपना मेटाबॉलिज्म कैसे बढ़ा सकते हैं? अपना मेटाबॉलिज्म बढ़ाने के लिए आपने भी लिखित उपाय कर सकते हैं।

  • आप रोजाना व्यायाम कर सकते हैं।
  • अपने भोजन में अधिक से अधिक प्रोटीन खाएं।
  • आप नियमित रूप से ठंडा पानी पी सकते हैं।
  • आपको भरपूर नींद लेने की आवश्यकता है।
  • अपने मसल्स और मांसपेशियों का निर्माण करें।

हमने ऊपर कुछ तरीके बताए हैं जिनकी मदद से आप अपना मेटाबॉलिज्म रेट बढ़ा सकते हैं। अगर आप नियमित व्यायाम करते हैं तो आपके शरीर में हलचल होती है जिससे आपके शरीर को अधिक कैलोरी की आवश्यकता होती है। नियमित व्यायाम आपके शरीर के मेटाबॉलिज्म रेट बढ़ाने में काफी मददगार साबित होता है।

अगर आप अधिक मात्रा में प्रोटीन अपने आहार के रूप में लेते हैं। तो प्रोटीन को तोड़ने के लिए आपके शरीर को अधिक ऊर्जा लगती है। इससे भी आप अपना शरीर का मेटाबॉलिज्म रेट बढ़ा सकते हैं।

अब ज्यादा से ज्यादा कोशिश करें कि आप ठंडा पानी यानी शीतल ना कि फ्रिज का हो, का इस्तेमाल करें। यह आपके कैलोरी को कम करने में काफी मदद करता है। इसके अलावा आपका शरीर आपके आंतरिक तापमान को पूरा करने के लिए ठंडे पानी को गर्म करने के लिए अधिक ऊर्जा का इस्तेमाल करेगा।

मेटाबॉलिज्म रेट बढ़ाने के लिए आपको भरपूर नींद पर लेना भी बेहद जरूरी है। नींद की कमी आपके मेटाबॉलिज्म को बुरी तरह प्रभावित करता है। इसलिए भरपूर नींद लेना चाहिए। या मधुमेह जैसी अन्य स्वास्थ्य समस्याओं से भी जुड़ा हुआ है। अपना मेटाबॉलिज्म रेट बढ़ाने के लिए आपको रोजाना 7 से 9 घंटे तक नींद लेने की आवश्यकता है।

 

 

 

 

 

 

निष्कर्ष

आज के हमारे इस लेख में हमने आप सभी लोगों को इस बारे में जानकारी उपलब्ध कराई है कि What is Metabolism? – मेटाबॉलिज्म क्या है? और आप अपने शरीर का मेटाबॉलिज्म रेट कैसे बढ़ा सकते हैं? इस बारे में भी हमने अपने इस लेख में चर्चा किया है।

मेटाबॉलिज्म, आपका शरीर आंतरिक प्रतिक्रियाओं को करने में काफी मददगार होता है। यह आपके शरीर के विभिन्न प्रक्रिया जैसे कि पाचन, सांस लेना, उत्सर्जन, विसरण, इत्यादि प्रतिक्रियाओं में महत्वपूर्ण भूमिका अदा करता है। यदि आपके शरीर का मेटाबॉलिज्म रेट काफी कम है तो आपका शरीर कम कैलोरी का उपयोग करता है। जिससे कि आप मोटापे का शिकार हो सकते हैं। आप अपना मेटाबॉलिज्म रेट व्यायाम करके, बेहतर नींद ले कर के, ठंडा पानी पीकर और अपने भोजन में प्रोटीन की मात्रा बढ़ाकर के आप अपने शरीर को स्वस्थ रख सकते हैं।

दोस्तों, आज के हमारे इस लेख में बस इतना ही, इससे संबंधित अगर आपके कुछ सवाल एवं सुझाव है तो आप हमें कमेंट बॉक्स में कमेंट करके बता सकते हैं। अगर आपको हमारा यह लेख पसंद आया तो आप अपने दोस्तों के साथ में इसे शेयर करना मत भूलिए।

 

 

 

 

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Sabah Al Khalid Al Sabah Biography in Hindi

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सबा अल खालिद अल सबा ( अरबी : الشيخ صباح الخالد الحمد الصباح ; जन्म 3 मार्च 1953) एक कुवैती राजनयिक और राजनीतिज्ञ हैं, जिन्होंने 2019 से 2022 तक कुवैत के प्रधान मंत्री के रूप में कार्य किया। उन्होंने 2006 से 2019 तक विभिन्न सरकारी पदों पर कार्य किया।  वह सत्तारूढ़ अल सबा परिवार के एक वरिष्ठ सदस्य हैं। प्रारंभिक जीवन और शिक्षा  सबा का जन्म 3 मार्च 1953 को हुआ था।  वह खालिद बिन हमद अल सबा और मौजा बिन्त अहमद अल सबा के पुत्र हैं , जो अहमद बिन जाबिर अल सबा की बेटी हैं , (Sabah Al Khalid Al Sabah Biography in Hindi) जो 1921 से 1950 तक कुवैत के शासक थे। कुवैत के उप प्रधान मंत्री और आंतरिक मंत्री मोहम्मद अल खालिद अल सबा के भाई । उनके दूसरे भाई अहमद अल खालिद अल सबा पूर्व उप प्रधान मंत्री और रक्षा मंत्री हैं। उनके पास राजनीति विज्ञान में स्नातक की डिग्री है जो उन्होंने 1977 में कुवैत विश्वविद्यालय से प्राप्त की थी। 

 

 

Sabah Al Khalid Al Sabah Biography in Hindi

 

 

 

 

 

 

सबा जुलाई 2021 में कुवैत सिटी, कुवैत में अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी जे. ब्लिंकन के साथ मुलाकात करते हैं।

सबा ने अपने करियर की शुरुआत 1978 में विदेश मंत्रालय में शामिल होकर की थी।  1995 तक उन्होंने संयुक्त राष्ट्र में कुवैत के स्थायी मिशन (1983-1989) के सदस्य होने सहित विभिन्न क्षमताओं में मंत्रालय में काम किया ।1995 में, वह सऊदी अरब में कुवैत के राजदूत बने और 1998 तक इस पद पर रहे।  इस अवधि के दौरान वे इस्लामिक सम्मेलन के संगठन (ओआईसी) में कुवैत के दूत भी थे ।  1998 से 2006 तक वह राष्ट्रीय सुरक्षा के प्रमुख थे। जुलाई 2006 में, उन्हें उनकी पहली मंत्री भूमिका दी गई और सामाजिक मामलों और श्रम मंत्री नियुक्त किया गया। वह इस अवधि के दौरान कार्यवाहक विदेश मंत्री भी थे। सामाजिक मामलों और श्रम मंत्री के रूप में उनका कार्यकाल अक्टूबर 2007 तक चला जब उन्हें सूचना मंत्री के रूप में नामित किया गया।  तब उन्हें अमीरी दीवान में सलाहकार नामित किया गया था। [10] फरवरी 2010 में, उन्हें सर्वोच्च पेट्रोलियम परिषद में नियुक्त किया गया । 

 

 

 

 

 

22 अक्टूबर 2011 को, वह उप प्रधान मंत्री और विदेश मामलों के मंत्री दोनों बने। सबा ने विदेश मंत्री के रूप में मोहम्मद अल सबा की जगह ली।] 14 दिसंबर 2011 के फेरबदल में सबा को कैबिनेट मामलों के राज्य मंत्री भी नियुक्त किया गया था। [ बाद में इस पद को मोहम्मद अब्दुल्ला अल मुबारक अल सबा ने ग्रहण किया। 4 अगस्त 2013 को, सबा को विदेश मंत्री के रूप में उनके पद के अलावा पहला उप प्रधान मंत्री बनाया गया था।  19 नवंबर 2019 को, सबा अपने पूर्ववर्ती जबेर अल-मुबारक अल-हमद अल-सबा के इस्तीफे के बाद एमिरी डिक्री के माध्यम से कुवैत के 8 वें प्रधान मंत्री बने ।  मई 2021 में, सबा ने एक नए कुवैती कानून के पक्ष में बात की जिसमें वास्तविक जीवन में या सोशल मीडिया पर इज़राइल का समर्थन करने वाले किसी भी व्यक्ति के लिए 10 साल की कैद और 5,000 कुवैती दिनार के जुर्माने की आवश्यकता थी। उन्होंने 5 अप्रैल 2022 को अपने मंत्रिमंडल का इस्तीफा सौंप दिया, जिसे अमीर ने 10 मई 2022 को कार्यवाहक क्षमता में रहने के अनुरोध के साथ स्वीकार कर लिया। 

 

 

 

 

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Jaber Al Mubarak Al Hamad Al Sabah Biography in Hindi

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शेख जाबेर अल-मुबारक अल-हमद अल-सबा ने दिसंबर 2011 में कुवैत के सातवें प्रधान मंत्री के रूप में शपथ ली थी। उन्होंने अमीर के भतीजे शेख नासिर अल-मोहम्मद अल-सबा से पदभार संभाला, जिन्होंने विपक्ष द्वारा लगाए गए भ्रष्टाचार के आरोपों के बाद इस्तीफा दे दिया था। संसद में। 1975 में विभाग के निदेशक बनने से पहले, (Jaber Al Mubarak Al Hamad Al Sabah Biography in Hindi) शेख जाबेर ने 1968 से अमीरी दीवान में प्रशासनिक मामलों के पर्यवेक्षक के रूप में कार्य किया। तब से, उन्होंने सामाजिक मामलों और श्रम मंत्रालय सहित कई मंत्रालयों में काम किया है।

 

 

Jaber Al Mubarak Al Hamad Al Sabah Biography in Hindi

 

 

 

1992 में इराकी कब्जे से कुवैत की मुक्ति के बाद, शेख जाबेर को दिवंगत अमीर शेख जाबेर अल-अहमद अल-जबर अल-सबाह के कार्यालय का सलाहकार नियुक्त किया गया था, जिस पद पर उन्होंने 2001 तक सेवा की थी। अपनी वर्तमान स्थिति से पहले, उन्होंने 2007 में पहले उप प्रधान मंत्री और रक्षा मंत्री नामित किया गया था। प्रधान मंत्री के रूप में उनकी पहली कार्रवाई दिसंबर 2011 में संसद को भंग करना था। कुवैत ने फरवरी में 50 सदस्यीय संसद के लिए नए चुनाव किए।

 

 

 

 

 

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Nasser Al Mohammed Al Sabah Biography in Hindi

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Nasser Al Mohammed Al Sabah Biography in Hindi

 

 

 

 

करियर

नासिर ने 1964 में विदेश मंत्रालय में तीसरे सचिव के रूप में अपना करियर शुरू किया । [1] वे अक्टूबर 1964 में न्यूयॉर्क में संयुक्त राष्ट्र में स्थायी कुवैती प्रतिनिधिमंडल के सदस्य बने । [1] इसके बाद उन्होंने ईरान और अफगानिस्तान में राजदूत के रूप में कार्य किया । , सूचना मंत्री, सामाजिक मामलों और श्रम मंत्री, विदेश मामलों के राज्य मंत्री और अमीरी दीवान के मंत्री। वह प्रधान मंत्री बने जब सबा अल अहमद ने फरवरी 2006 में कुवैत पर शासन करना शुरू किया। 

4 मार्च 2007 को नासिर ने इस्तीफा दे दिया, पर्यवेक्षकों का मानना ​​​​है कि स्वास्थ्य मंत्री अहमद अल-अब्दुल्ला अल-सबा के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव से बचने के उद्देश्य से किया गया था। दस सांसदों ने फरवरी में मंत्रालय में संदिग्ध वित्तीय और प्रशासनिक उल्लंघनों को लेकर प्रस्ताव पेश किया था। वोट 5 मार्च को संसद में होने वाले थे और अगर विधायकों ने उनके खिलाफ मतदान किया होता तो अहमद को पद छोड़ना पड़ता। उन्हें 6 मार्च को फिर से प्रधान मंत्री के रूप में नियुक्त किया गया था। 

25 नवंबर को, कैबिनेट ने इस्तीफा दे दिया, और 17 दिसंबर को अमीर ने नासिर को नए कैबिनेट के प्रधान मंत्री के रूप में फिर से नियुक्त किया। मार्च 2009 में, कुवैती सरकार ने कुवैत के अमीर को अपना इस्तीफा सौंप दिया जब इस्लामवादी सांसदों ने पीएम की सुनवाई का अनुरोध किया 9 मई को, नई संसद के चुनाव के बाद, अमीर ने नासिर को कुवैती सरकार बनाने के लिए कहा। लगातार छठी बार।

 

 

 

 

 

 

2008 में अमेरिकी राष्ट्रपति जॉर्ज डब्ल्यू बुश के साथ नासिर

जनवरी 2011 में, वह 25-25 (सरकार को गिराने के लिए 26 की जरूरत थी) के वोट के साथ संसद में अविश्वास प्रस्ताव से बच गए।  अप्रैल 2011 में, संसद के साथ गतिरोध के कारण उनके मंत्रिमंडल ने इस्तीफा दे दिया ; नई सरकार बनाने के लिए उन्हें 6 अप्रैल 2011 को फिर से नियुक्त किया गया था, लेकिन उन्होंने 28 नवंबर 2011 को फिर से इस्तीफा दे दिया।  उनका इस्तीफा अमीर ने स्वीकार कर लिया और जिन्होंने जबेर अल-मुबारक अल-हमद अल-सबा को अगले प्रधान मंत्री के रूप में नियुक्त किया। 4 दिसंबर 2011.

 

 

 

 

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Sabah Al Ahmad Al Jaber Al Sabah Biography in Hindi

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29 सितंबर 2020 को, कुवैत के लोगों ने अपने प्रिय अमीर, हिज हाइनेस शेख सबा अल-अहमद अल-जबर अल-सबा की मृत्यु के बारे में जाना। उनके निधन का प्रभाव न केवल कुवैत राज्य में, बल्कि दुनिया भर में भी महसूस किया गया था, क्योंकि दिवंगत आमिर एक सम्मानित और सम्मानित राजनेता, मानवतावादी और शांति के हिमायती थे। दिवंगत अमीर, जिन्हें “डिप्लोमेसी के डीन” के रूप में भी जाना जाता है, कुवैत को एक शांतिदूत के रूप में अंतर्राष्ट्रीय समुदाय की नज़र में रखने में सक्षम थे, और एक ऐसे देश के नेता थे जो पारस्परिक सहयोग और सम्मान पर केंद्रित थे।(Sabah Al Ahmad Al Jaber Al Sabah Biography in Hindi)  कुवैत को इस क्षेत्र में एक नेता बनाने में उनकी अधिकांश सफलता कुवैत के विदेश मंत्री के रूप में उनके 40 साल के कार्यकाल के लिए जिम्मेदार ठहराया जा सकता है, एक पद जो उन्होंने 2006 में अमीर के उत्तराधिकार से पहले आयोजित किया था। कूटनीति की उनकी इच्छा मध्यस्थ के रूप में उनकी भूमिका में प्रमाणित थी। हाल के जीसीसी विवादों में।

 

 

 

Sabah Al Ahmad Al Jaber Al Sabah Biography in Hindi

 

 

 

 

 

दिवंगत आमिर छह जीसीसी देशों के बीच एकजुटता और सहयोग के अपने विश्वास पर अड़े थे, और वैश्विक शांति और सुरक्षा बनाए रखने के लिए जीसीसी के बीच एकता के महत्व पर जोर दिया। यह इराक के पुनर्निर्माण और पुनर्गठन में मदद करने के लिए कुवैत में आयोजित 2018 शिखर सम्मेलन द्वारा भी प्रदर्शित किया जा सकता है, जिसके परिणामस्वरूप कुवैत के पड़ोसी देश के लिए अरबों डॉलर का वित्त पोषण हुआ। चल रहे संघर्ष को समाप्त करने की इच्छा रखने वाले फ़िलिस्तीन की मान्यता और समर्थन में आमिर भी एक प्रमुख समर्थक थे। दिवंगत अमीर न केवल खाड़ी देशों के बीच बढ़ते संबंधों और बढ़ते संबंधों से चिंतित थे, बल्कि यह स्पष्ट है कि उनके मानवीय प्रयासों का दुनिया भर में प्रभाव पड़ा, जैसा कि दुनिया के सभी कोनों में देखे गए शोक से स्पष्ट है। महामहिम आपदा राहत के एक उदार समर्थक थे और लगातार यह सुनिश्चित कर रहे थे कि दान, चाहे वे धन के रूप में हों या आपूर्ति के रूप में, जरूरतमंद लोगों को भेजे गए, जिसने बदले में, दुनिया भर में हजारों लोगों की जान बचाई है। दिवंगत आमिर को दिए गए सम्मान और पुरस्कार बहुत कम हैं, जिनमें हाल ही में लीजन ऑफ मेरिट भी शामिल है, जिसे अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने संयुक्त राज्य अमेरिका के साथ उनकी दृढ़ साझेदारी की मान्यता में प्रस्तुत किया था। महामहिम को सम्मानित किया गया और उनकी उपलब्धियों को संयुक्त राष्ट्र द्वारा कई अवसरों पर मान्यता भी दी गई और 2014 में,

 

 

 

 

 

 

कानूनी और आर्थिक सुधार में अग्रणी कुवैत का उछाल

अपनी वैश्विक उपलब्धियों के समानांतर और अपने मानवीय और शांति प्रयासों को मान्यता देते हुए, स्वर्गीय अमीर ने कुवैत को घरेलू मोर्चे पर अभूतपूर्व और आगे की सोच वाली कानूनी और आर्थिक योजनाओं और सुधारों के साथ आगे बढ़ाया।

अमीर के रूप में उनके नेतृत्व के दौरान, कुवैत ने कानूनी सुधार में एक बहुत ही आवश्यक और स्वागत योग्य उछाल का अनुभव किया जिसने कई सरकारी अधिकारियों और क्षेत्रों में कुवैत के कानूनी और नियामक शासन को सकारात्मक रूप से प्रभावित, सुधार और बढ़ाया। इसमें न केवल मौजूदा कानूनों में सुधार और अनगिनत नए लोगों की शुरूआत शामिल थी, बल्कि इसमें निरीक्षण और विनियमन प्रदान करने के लिए कई शासी प्राधिकरणों की स्थापना भी शामिल थी। इनमें कैपिटल मार्केट अथॉरिटी, कुवैत डायरेक्ट इन्वेस्टमेंट प्रमोशन अथॉरिटी, कुवैत अथॉरिटी फॉर पार्टनरशिप प्रोजेक्ट्स, कॉम्पिटिशन प्रोटेक्शन अथॉरिटी और कम्युनिकेशन एंड इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी रेगुलेटरी अथॉरिटी जैसे कुछ ही नाम शामिल हैं।

नए कानूनों और विनियमों के परिचय और आधुनिकीकरण के साथ, कुवैत को 2035 तक वाणिज्य और उद्योग के लिए एक अंतरराष्ट्रीय केंद्र में बदलने के लिए महामहिम की दृष्टि पहले से ही कुवैत की राष्ट्रीय विकास योजना के माध्यम से लागू की जा रही है।

राष्ट्रीय विकास योजना, स्वर्गीय अमीर की दृष्टि पर आधारित, बुनियादी ढांचे, तेल और गैस, स्वास्थ्य सेवा, परिवहन, बिजली, आवास, ऊर्जा और अन्य क्षेत्रों में 150 से अधिक परियोजनाओं को लागू करने का प्रयास करती है। अपने बुनियादी ढांचे के निर्माण और अपनी तेल क्षेत्र की परियोजनाओं के विस्तार के लिए कुवैत की प्रतिबद्धता दिवंगत अमीर के तहत दृढ़ता से गति में थी, और उनकी दृष्टि और राष्ट्रीय विकास योजना की शुरुआत के आधार पर, महामहिम ने कुवैत की अपेक्षाओं के संदर्भ में न केवल बार उठाया है आगे बढ़ रहा है, लेकिन कुवैत की कंपनियों, उसके नागरिकों के लिए अनगिनत अवसरों को संभव बनाया है, और कुवैत के भीतर विदेशी निवेशकों और निवेश की संभावनाओं को चौड़ा किया है।

 

 

 

 

 

 

एक सच्चे नेता जो हमारे दिलों में हमेशा याद रहेंगे

एक सच्चे नेता के रूप में उनकी छाप न केवल एक राजनेता, मानवतावादी, शांति अधिवक्ता के रूप में उनके प्रयासों की मान्यता से निर्धारित होगी, और न केवल कानूनी और आर्थिक सुधार में उनकी प्रगति के लिए बल्कि प्रतिकूल परिस्थितियों में नेतृत्व करने की उनकी क्षमता में भी होगी, और जब कोई राष्ट्र ताकत और आशा के लिए अपने नेता की ओर देखता है, तो वह दिवंगत आमिर जैसे व्यक्ति को दूसरों से अलग करता है। स्वर्गीय आमिर ऐसी उपलब्धियों के लिए पूज्यनीय थे, जिन्हें उन्होंने गरिमा और सम्मान के साथ किया। कुवैत उस तरीके को कभी नहीं भूलेगा जिस तरह से उसने खुद को आगे बढ़ाया और कुवैत की सीमाओं के भीतर प्रत्येक व्यक्ति को गले लगाने में सक्षम था। अपने देश को गले लगाने और देखभाल करने की उनकी क्षमता का एक आदर्श उदाहरण 2015 में कुवैत शहर में एक मस्जिद की भयानक बमबारी के बाद उनके ईमानदार और प्रेरक बयानों और कार्यों में देखा गया था।

स्वर्गीय अमीर, हिज हाइनेस शेख सबा अल-अहमद अल-जबर अल-सबाह की विरासत को कुवैत और बाकी दुनिया के लोगों द्वारा याद और आगे बढ़ाया जाएगा। अल तमीमी एंड कंपनी की ओर से हम शाही परिवार और कुवैत के लोगों के प्रति अपनी सबसे ईमानदार और हार्दिक संवेदना व्यक्त करते हैं और शेख नवाफ अल अहमद अल जाबेर अल सबा को अमीर और शेख मेशल अल-अहमद के रूप में उनकी नई भूमिका के लिए शुभकामनाएं देते हैं। अल-जबर अल-सबाह क्राउन प्रिंस के रूप में अपनी नई भूमिका में।

 

 

 

 

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