Home Blog Page 93

Sanjeevani Vati Benefits and Side Effects

0

Sanjeevani Vati Benefits and Side Effects, क्या आपको पता है कि संजीवनी वटी (divya sanjivani vati) क्या है, और संजीवनी वटी का उपयोग किस काम में किया जाता है? नहीं ना! संजीवनी वटी एक आयुर्वेदिक औषधि है। संजीवनी वटी का प्रयोग कर रोगों का इलाज किया जाता है। आयुर्वेद में संजीवनी वटी के बारे में बहुत सारी अच्छी बातें लिखी हुई हैं। संजीवनी वटी के इस्तेमाल से आप एक-दो नहीं बल्किक कई रोगों का इलाज कर सकते हैं। आइए जानते हैं कि आप संजीवनी वटी का उपयोग कैसे कर सकते हैं।

 

संजीवनी वटी के गुण और उपयोग | संजीवनी वटी के फायदे, नुकसान और सेवन विधि | Sanjivani  vati uses in Hindi

 

 

 

 

 

संजीवनी वटी क्या है? (What is Sanjivani Vati in Hindi?)

संजीवनी वटी एक प्रमुख विषरोधी (Anti toxic) आयुर्वेदिक औषधि है।  संजीवनी वटी सांप के काटने पर विष को खत्म करने के लिए प्रयोग में लाई जाती है। इसके अलावा संजीवनी वटी कीटाणु एवं बुखार को भी ठीक करती है।

यह अपच से पैदा हुए दोष को ख़त्म करती है। वत्सनाभ (बच्छनाग) की प्रधानता होने के कारण यह कुछ गरम, और पसीना तथा पेशाब को बढ़ाने का काम करती है। इन्हीं गुणों के कारण यह वटी बुखार की अवस्था में पसीने के रास्ते और पेशाब के रास्ते बुखार को बाहर निकाले में मदद करती है। यह पतंजलि की एक प्रमुख रोग प्रतिरक्षा औषधि है।

 

संजीवनी वटी के फायदे (Benefits of Sanjeevani Vati in Hindi)

संजीवनी वटी (sanjeevni vati) का इस्तेमाल ऐसे किया जा सकता हैः-

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

मूत्र रोग में संजीवनी वटी का इस्तेमाल लाभदायक (Sanjivani Vati Benefits for Urinal Disorder in Hindi)

अनेक लोग मूत्र रोग से परेशान रहते हैं। इसमें संजीवनी वटी का उपयोग करना चाहिए। मूत्र रोग जैसे पेशाब कम आने की समस्या में संजीवनटी वटी फायदेमंद होती है। यह पेशाब को साफ करने का काम भी करती है।

 

बुखार उतारने में संजीवनी वटी का उपयोग फायदेमंद (Sanjeevani Vati Uses in Fighting with Fever in Hindi)

  • संजीवन वटी का इस्तेमाल बुखार को ठीक करने के लिए भी किया जाता है। मौसमी बुखार या पेट की गड़बड़ी के कारण आने वाले बुखार को ठीक करने में संजीवनटी वटी मदद करती है।
  • लगातार हल्का बुखार या मोतीझरा रोग (टॉयफॉयड) में इसकी एक–एक गोली लौंग के जल से साथ लें।
  • इसके अलावा आप सोंठ, अजवायन तथा सेन्धा नमक तीन–तीन ग्राम लेकर जल के साथ पीस लें। इसे दोबारा जल में मिलाकर थोड़ा-सा गरम कर लें। इसके साथ लें। इससे विकार नष्ट होते हैं और बुखार ठीक समय पर उतर जाता है।  

 

Fever

 

पाचनतंत्र विकार या अपच की समस्या में संजीवनी वटी का सेवन (Benefits of Sanjeevani Vati for Indigestion in Hindi)

  • अत्यधिक खाने से या बिना भूख के भोजन करने से, या दूषित पदार्थ को खाने से पाचन–क्रिया में खराबी होने पर अपच हो जाती है, जिसके कारण पेट में दर्द, पेट में भारीपन, पतला व अनपचा दस्त, कम मात्रा में मूत्र आना तथा वमन (उल्टी) होना आदि हो जाते हैं।
  • ऐसी स्थिति होने तो दो–दो वटी (गोली) एक–एक घण्टे के बाद देनी चाहिए। इससे अधिक भयंकर अवस्था होने पर चार–चार गोली आधा–आधा घण्टे के बाद देने से लाभ होता है।

 

 

 

 

 

 

 

 

 

पेट के रोगों में करें संजीवनी वटी का सेवन (Uses of Sanjivani Vati in Abdominal Diseases in Hindi)

पाचन कमजोर होने पर पेट में आम यानी अनपचा भोजन जमा हो जाता है, इससे बुखार भी हो जाता है। ऐसे में पेट में भारीपन के साथ-साथ थोड़ा–थोड़ा दस्त होने लगता है। इसके साथ ही बुखार बढ़ना, पसीना न आना, बेचैनी, सिर और पेट में दर्द भी आदि होने लगते हैं। इस अवस्था में संजीवनी वटी का प्रयोग बहुत लाभकारक होता है। इसके साथ–साथ यह पाचक रसों को उत्पन्न कर अपच को ठीक करती है।

संजीवनी वटी पसीना की कमी को दूर करती है। सांप के विष, कीटाणु एवं बुखार को नष्ट करती है। यह आमदोष को भी ठीक करती है, और आमदोष से होने वाले बुखार, हैजा, आदि रोगों को भी नष्ट करती है। यह पसीना एवं मूत्र द्वारा अन्दर के मलदोष भी बाहर कर देती है।

उल्टी रोकने और दस्त बंद करने के लिए संजीवनी वटी का प्रयोग लाभदायक (Sanjeevani Vati Stops Diarrhea in Hindi)

यह वटी आमदोष को ख़त्म करते हुए उल्टी व दस्त को भी बन्द कर देती है।

Diarrhea

 

 

 

 

 

 

 

 

 

सांप के काटने पर संजीवनी वटी के प्रयोग से लाभ (Sanjivani Vati is Beneficial for Snake Bite in Hindi)

आप सांप के काटने पर संजीवनी वटी का प्रयोग कर सकते हैं। यह सांप के विष को खत्म करने में मदद (divya sanjivani vati benefits) पहुंचाती है।

 

anjivani Vati is Beneficial for Snake Bite

संजीवनी वटी की खुराक (Doses of Sanjivani Vati in Hindi)

संजीवनी वटी का उपयोग इतनी मात्रा में करनी चाहिएः-

125 मिली ग्राम,

अनुपान- अदरक का रस,  हल्का गर्म पानी

 

 

 

 

 

 

 

 

संजीवनी वटी के बारे में आयुर्वेद Sanjeevani Vati Benefits and Side Effects में उल्लेख (Sanjeevani Vati in Ayurveda in Hindi)

संजीवनी वटी के बारे में आयुर्वेदिक ग्रंथों में कहा गया है –

विडङ्गं नागरं कृष्णा पथ्यामलबिभीतकम्।।

वचा गुडूची भल्लातं सविषं चात्र योजयेत्।

एतानि समभागानि गोमूत्रेणैव पेषयेद्।।

गुञ्जाभा गुटिका कार्या दद्यादार्द्रकजै रसै।

एकामजीर्णगुल्मेषु द्वे विषूच्यां प्रदापयेत्।।

तिस्रश्च सर्पदष्टे तु चतस्र सान्निपातिके।

वटी सञ्जीवनी नाम्ना सञ्जीवयति मानवम्।। शारंगधर संहिता (म.ख. 7/18-21)

 

संजीवनी वटी के घटक (Composition of Sanjivani Vati in Hindi)

संजीवनी वटी (sanjeevni vati) में निम्न द्रव्य (Ingredients) हैंः-

क्र.सं. घटक द्रव्य उपयोगी हिस्सा अनुपात
1. विडंग (Embelia ribes Burm.) फल 1 भाग
2. नागर (शुण्ठी) (Zingiber officinale Rosc.) कन्द 1 भाग
3. कृष्णा (पिप्पली) (Pipper longum Linn.) फल 1 भाग
4. पथ्या (हरीतकी) (Terminalia chebula Retz.) फली 1 भाग
5. आमला (Emblica officinalis Gaertn.) फला 1 भाग
6. बिभीतक (Terminalia bellirica Roxb.) फला 1 भाग
7. वच (Acorus caloamus Linn.) कन्द 1 भाग
8. गुडुची (Tinospora cordifolia (willd) तना 1 भाग
9. भल्लातक शुद्ध (Semecarpus anacardium Linn.) फल 1 भाग
10. विष(वत्सनाभ)(Aconitum ferrox wallex Seringe.) मूलकन्द 1 भाग
11. गोमूत्र Q.S मर्दनार्थ  

Arogyavardhini Vati Benefits and Side Effects

0

Arogyavardhini Vati Benefits and Side Effects, का मतलब है, वैसी वटी जो शरीर के रोगों को ठीक करे। आरोग्यवर्धिनी वटी कई जड़ी-बूटियों से बनाई गई एक औषधि है। कई रोगों के इलाज में आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे मिलते हैं। आप पाचन-तंत्र विकार, त्वचा रोग आदि के अलावा कई और रोगों में आरोग्यवर्धिनी वटी से लाभ ले सकते हैं।

 

 

 

 

Arogyavardhini Vati: Benefits, Uses, Dosage, & Side Effects

 

 

आयुर्वेद में आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे के बारे में कई महत्वपूर्ण बातें बताई गई हैं। आइए जानते हैं कि आरोग्यवर्धिनी वटी से क्या-क्या लाभ मिलता है।

 

आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे और उपयोग (Arogyavardhini Vati Benefits and Uses in Hindi)

आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे कई बीमारियों में मिलते हैं। आइए इसके बार में आगे विस्तार से जानते हैं-

 

मोटापा (वजन) कम करने के लिए आरोग्यवर्धिनी वटी का सेवन फायदेमंद (Arogyavardhini Vati Benefits for Weight Loss in Hindi)

  • आरोग्यवर्धिनी वटी मोटापा कम करने में लाभदायक होती है। यह चर्बी को कम करने का काम करती है।
  • आप मल त्याग करने संबंधी परेशानी में भी आरोग्यवर्धिनी वटी का सेवन कर लाभ पा सकते हैं।

 

पाचनतंत्र विकार विकार में आरोग्यवर्धिनी वटी के सेवन से लाभ (Benefits of Arogyavardhini Vati for Indigestion in Hindi)

आरोग्यवर्धिनी वटी (divya arogya vati)  में ऐसा रसायन होता है, जो पाचनतंत्र संबंधी विकारों को ठीक करने में सहायता करता है। यह शरीर की कमजोरी, अपच की परेशानी, लिवर विकार में लाभदायक साबित होती है। यह पाचन शक्ति को ठीक कर शरीर को स्वस्थ बनाती है।

 

 

त्वचा रोग में आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे (Arogyavardhini Vati Uses to Treat Skin Disease in Hindi)

इसके सेवन से त्वचा संबंधित रोगों में तुरंत लाभ मिलता है। पीव वाले त्वचा रोग में त्वचा में यह वटी बहुत फायदा पहुंचाती है।

 

 

 

 

 

 

 

 

 

पोषक ग्रंथियों को स्वस्थ बनाने के लिए आरोग्यवर्धिनी वटी का सेवन फायदेमंद (Arogyavardhini Vati Benefits for Nutritive Glands in Hindi)

शरीर के विकास के लिए पोषक ग्रंथियों का स्वस्थ होना बहुत जरूरी होता है। कई बार अनेक विकारों के कारण शरीर का उचित विकास नहीं हो पाता है। ऐसे में आरोग्यवर्धिनी वटी के सेवन से लाभ मिलता है। ध्यान रखें कि जब आप आरोग्यवर्धिनी वटी का सेवन कर रहे हों तो दवा के सेवन के दौरान केवल दूध का ही सेवन करें। इसके अलावा आरोग्यवर्धिनी वटी के इस्तेमाल की जानकारी किसी आयुर्वेदिक चिकित्सक से जरूर लें।

 

मूत्र रोग में आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे (Arogyavardhini Vati Uses for Urinary Disease in Hindi)

आरोग्यवर्धिनी वटी पेशाब से संबंधित बीमारी में भी लाभ पहुंचाती है। यह मूत्र मार्ग की सूजन को कम करने में सहायता करती है।

 

आंतों के रोग में आरोग्यवर्धिनी के फायदे (Benefits of Arogyavardhini Vati for Intestinal Disease in Hindi)

यह वटी बड़ी आंत और छोटी आंत से संबंधित विकार को ठीक करने में मदद करती है। आरोग्यवर्धिनी वटी का इस्तेमाल करने से पहले आयुर्वेदिक चिकित्सक की सलाह लें।

 

रक्त विकार में आरोग्यवर्धिनी वटी के सेवन से लाभ (Divya Arogyavardhini Vati Uses to Treat Blood Related Disorder in Hindi)

कई बार शरीर पर लाल चकत्ते पड़ जाते हैं। खुजली और एक्जिमा होने की संभावना बढ़ जाती है। ऐसे में आरोग्यवद्धिनी वटी को महामंजिष्ठादि अर्क के साथ सेवन करने से विशेष लाभ मिलता है। आप नीम की छाल के काढ़ा के साथ प्रयोग कर सकते हैं। इससे विशेष लाभ होता है।

 

 

 

 

 

 

 

 

 

तिल्ली और लिवर विकार में आयोग्यवर्धिनी वटी के सेवन से फायदा (Arogyavardhini Vati Benefits for Liver and Spleen Disorder in Hindi)

  • आरोग्यवर्धिनी वटी (divya arogya vati) के सेवन से शरीर के किसी भी अंग जैसे- लिवर, तिल्ली (प्लीहा), गर्भाशय, आंत, ह्रदय आदि में होने वाली सूजन ठीक होती है। इसके अलावा पुराना बुखार, जलोदर, और एनीमिया में भी बहुत लाभ मिलता है।
  • शरीर में सूजन, एवं जलोदर जैसे रोग में केवल गाय के दूध के साथ सेवन करना चाहिए।
  • अगर लिवर बढ़ने के कारण दर्द हो रहा हो, तो पुनर्नवाष्टक काढ़ा में रोहेड़ा की छाल, और शरपुंखामूल 1-1 भाग अधिक मिलाकर पीने से फायदा होता है।

 

 

कुष्ठ रोग में आरोग्यवर्धिनी वटी के सेवन से फायदा (Divya Arogyavardhini Vati Uses for Leprosy Treatment in Hindi)

औदुम्बर कुष्ठ में शरीर की त्वचा खराब, और रूखी हो जाती है। इसमें त्वचा की संवेदनशीलता खत्म हो जाती है, और शरीर सुन्नपन पड़ जाता है। पसीना अधिक निकलता है। ऐसे में आरोग्यवर्धिनी वटी को गन्धक रसायन के साथ प्रयोग करना चाहिए। यह कुष्ठ रोग की यह चमत्कारिक दवा है। इससे कुष्ठ रोग के साथ-साथ त्वचा रोगों में यह लाभ मिलता है।

 

 

Leprosy

 

 

 

ह्रदय विकार में फायदेमंद आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे (Benefits of Arogyavardhini Vati for Heart Related disorder in Hindi)

आरोग्यवर्धिनी वटी (divya arogya vati) ह्रदय से संबंधित दर्द में भी बहुत लाभ पहुंचाती है। इस रोग में आरोग्यवर्धिनी के साथ एक रत्ती डिजिटेलिस के पत्ते का चूर्ण और 1-2 रत्ती जंगली प्याज का चूर्ण  मिलाएं। इसे पुनर्नवादि या दशमूल काढ़ा के साथ सेवन करें। इससे ह्रदय रोग ठीक होता है।

 

आरोग्यवर्धिनी वटी का इस्तेमाल कैसे करें? (How to Uses Arogyavardhini Vati?)

आरोग्यवर्धिनी वटी का इस्तेमाल इस तरह करेंः-

इसे चूसना चाहिए।

 

आरोग्यवर्धिनी वटी के सेवन की मात्रा (Arogyavardhini Vati Dosage)

आरोग्यवर्धिनी वटी का सेवन Arogyavardhini Vati Benefits and Side Effects इतनी मात्रा में करनी चाहिएः-

आरोग्यवर्धिनी वटी की मात्रा 250-500 मिली ग्राम

 

आरोग्यवर्धिनी वटी कहां मिलती है? (Where is Arogyavardhini Vati Found?)

आप 1mg पोर्टल से पतंजलि द्वारा निर्मित आरोग्यवर्धिनी वटी (Arogyavardhini Vati Patanjali) खरीद सकते हैं।

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

आयुर्वेद में आरोग्यवर्धिनी वटी के बारे में उल्लेख (Arogyavardhini Vati in Ayurveda)

आयुर्वेद में आरोग्यवर्धिनी वटी के बारे में ये उल्लेख मिलता हैः-

रसगन्धकलोहाभ्रशुल्वभस्म समांशकम्।

त्रिफला द्विगुणा प्रोक्ता त्रिगुणं च शिलाजतु।।

चतुर्गुणं पुरं शुद्धं चित्रमूलञ्च तत्समम्।

तिक्ता सर्वसमा ज्ञेया सर्वं सञ्चूर्ण्य यत्नत।।

निम्बवृक्षदलाम्भोभि मर्दयेद्द्विदिनावधि।

ततश्च वाटिका कार्या क्षुद्रकोलफलोपम़ा।।

मण्डलं सेविता सैषा हन्ति कुष्ठान्यशेषत।

वातपित्तकफोद्भूताञ्ज्वरान्नाना विकारजान्।।

देया पञ्चदिने जाते ज्वरे रोगे वटी शुभा।

पाचनी दीपनी पथ्या ह्द्या मेदोविनाशिनी।।

मलशुद्धिकरी नित्यं दुर्धर्षं क्षुत्प्रवर्तिनी।

बहुना।त्र किमुक्तेन सर्वरोगेषु शस्यते।।

आरोग्यवर्धनी नाम्ना गुटिकेयं प्रकीर्तिता।

सर्वरोगप्रशमनी श्रीनागार्जुनचोदिता।। र.र.स. 20/87-93

kutajghan vati Benefits and Side Effects

0

kutajghan vati Benefits and Side Effects, क्या आपको पता है कि कुटजघन वटी क्या (kutajghan vati) है, और कुटजघन वटी का उपयोग किस चीज मेें किया जाता है? कुटजघन वटी से पेट संबंधी रोगों का उपचार किया जाता है। कुटजघटवटी का प्रयोग कर कोलायाटिस, पतले दस्त, आंव आना, आँतों के सभी प्रकार के रोग ठीक किए जा सकते हैं।

 

 

 

 

 

 

 

Patanjali Divya Kutajghan Vati Benefits | Uses | Dosage | Side Effects |  Price - YouTube

 

 

 

इसके अलावा भी आप कुटज घन वटी का प्रयोग अन्य बीमारियों में कर सकते हैं। आइए  कुटजघट वटी के सभी फायदे ( kutaj ghanvati ke fayde, khurak aur upyog)) के बारे में जानते हैं।

 

कुटजघन वटी क्या है? (What is Kutaj Ghanvati in Hindi?)

कुटजघन वटी, कुटज तथा अतिविषा के प्रयोग से बनी एक महत्वपूर्ण औषधि (kutajghan vati in hindi) है जो पेट के रोगों में बहुत काम आती है। कोलायाटिस, पतले दस्त, आंव आना, आँतों के सभी प्रकार के दोष, बवासीर, गैस्ट्रिक अल्सर इत्यादि पेट के रोगों में काम आती है। यह पतंजलि द्वारा दी जाने वाली यह एक प्रमुख औषधि (Patanjali Medicine for Gastric problems) है।

 

कुटजघन वटी के फायदे और उपयोग (Kutaj Ghanvati Benefits and Uses in Hindi)

आप कुटजघन वटी (kutaj ghan vati) का प्रयोग कई रोगों को ठीक करने के लिए कर सकते हैं, जो ये हैंः-

 

पेचिश में कुटजघन वटी के फायदे (Kutaj Ghanvati Benefits to Stop Dysentery in Hindi)

पेचिश को ठीक (kutaj ghan vati benefits) करने के लिए कुटजघन वटी बहुत फायदेमंद होती है। जिन लोगों को दस्त के साथ खून आने की शिकायत है वे कुटजघन वटी का इस्तेमाल कर पेचिश से छुटकारा पा सकते हैं।

 

 

 

 

 

 

 

 

 

कब्ज में कुटजघन वटी के फायदे (Kutaj Ghanvati Uses in Fighting with Constipation in Hindi)

खान-पान में असंतुलन और अनियमित दिनचर्या के कारण कब्ज की समस्या से ग्रस्त हो जाना बहुत आम है। लगभग सभी लोग कब्ज से परेशान रहते हैं। कब्ज को ठीक करने के लिए कुटजघन वटी का प्रयोग बहुत लाभदायक होता है। कुटजघन वटी के सेवन से कब्ज ठीक (kutaj ghan vati benefits) होती है।

 

 

कुटजघन वटी के सेवन से दस्त पर रोक (Benefits of Kutaj Ghanvati to Stop Diarrhea in Hindi)

आप दस्त की समस्या में भी कुटजघन वटी का उपयोग कर सकते हैं। इसके सेवन से दस्त पर रोक लगती है।

 

 

अपच की समस्या में कुटजघन वटी के सेवन से लाभ (Uses of Kutaj Ghanvati for Indigestion in Hindi)

अनेक लोग पाचनतंत्र विकार से ग्रस्त होते है। कुटजघन वटी के सेवन से अपच की परेशानी ठीक हो जाती है। पाचनतंत्र विकार से परेशान लोग कुटजघन वटी का सेवन करें। यह फायदेमंद (kutaj ghan vati benefits) होता है।

 

 

सूजन की समस्या में कुटजघन वटी के फायदे (Kutaj Ghanvati Benefits to Reduce Swelling in Hindi)

सूजन की समस्या शरीर के किसी भी अंग में हो सकती है। कुटजघन वटी सूजन को ठीक करने का काम भी करती है। आप त्वचा में होने वाली सूजन में भी कुटजघन वटी का प्रयोग कर सकते हैं। यह लाभदायक होती है।

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

बहुत पसीना आने पर कुटजघन वटी से लाभ (Kutaj Ghanvati Uses for Excessive Sweat Odor Problem in Hindi)

  • कई लोगों को शरीर से बहुत पसीना निकलता है। ऐसी परेशानी में भी कुटजघन वटी का इस्तेमाल लाभ पहुंचाता है।
  • इसके अलावा कुटजघन वटी का इस्तेमाल (kutaj ghan vati benefits) जीवाणु के संक्रमण, डिहाइड्रेशन सहित अन्य रोगों में भी किया जाता है। इसके लिए किसी आयुर्वेदिक चिकित्सक के परामर्श जरूर लें।

 

किन्हें कुटजघन वटी का इस्तेमाल नहीं करना है? (Who Should not Use Kutaj Ghanvati?)

इन लोगों को कुटजघन वटी का प्रयोग नहीं करनी चाहिएः-

  • सिर की गंभीर चोट वाले लोग
  • फेफड़े में ट्यूमर वाले रोगी
  • मानसिक विकार से ग्रस्त मरीज
  • एलर्जी से पीड़ित होने पर

इन समस्याओं की स्थिति में कुटजघन वटी का सेवन नहीं करना चाहिए।

कुटजघनवटी (kutaj ghan vati) का इस्तेमाल करने से पहले किसी आयुर्वेदिक चिकित्सक से सलाह जरूर लें।

 

कुटजघन वटी की खुराक (Doses of Kutaj Ghanvati)

कुटजघन वटी का सेवन इतनी kutajghan vati Benefits and Side Effects मात्रा में करना चाहिएः-

250-500 मि.ग्रा.

अनुपान – नींबू पानी, ठंडा पानी

 

आयुर्वेद में कुटजघन वटी के बारे में उल्लेख (Kutaj Ghanvati in Ayurveda)

कुटजघन वटी (kutaj ghan vati) के बारे में ‘सिद्ध योग संग्रह’ नामक आयुर्वेदिक ग्रंथ के अतिसार-प्रवाहिका–ग्रहणी रोग संबंधित अध्याय में उल्लेख मिलता है।

 

कुटजघन वटी बनाने के उपयोगी घटक (Composition of Kutaj Ghanvati)

आप इन घटकों से कुटजघन वटी बना सकते हैंः-

Cloves for Toothache Benefits and Side Effects (long ke fayde)

0

Cloves for Toothache Benefits and Side Effects, are a common spice used in the Indian cuisine, used to enhance the flavour and fragrance of food. It is used whole or in powdered form. However, it also has a great effect on toothache. Toothaches are painful and uncomfortable but clove is one substance which can really help you get quick relief. Clove oil contains eugenol a natural anesthetic which helps to numb the area where the pain is occurring. Additionally, this wonder anesthetic also reduces swelling and irritation in the affected area. Several studies have described the efficacy of clove for aches and pains due to its potent anti-inflammatory properties. A British study titled Effectiveness of 0.2% chlorhexidine gel and a eugenol-based paste on postoperative alveolar osteitis in patients having third molars extracted: a randomised controlled clinical trial” found that eugenol can effectively reduce pain, infection and inflammation more than any other type of analgesic. The eugenol –based paste used by the participants in the study healed wounds better than study participants who used other treatment or no treatment at all. Here are all the benefits of clove for Toothaches.


Cloves Benefits, Uses and Side Effects | Cloves benefits, Herbalism, Herbal medicine

Benefits of clove for toothache

1. Reduces swelling

The gum swelling and irritation that are characteristic of tooth problems can be soothed using clove. The anti-inflammatory properties of clove oil bring down the swelling and ease the pain considerably.

2. Prevents infections

Eugenol, the antiseptic compound contained in cloves is highly effective in treating infections that can be caused in the mouth due to tooth cavities and bacteria.

3. Numbs pain

As a potent anesthetic, clove numbs the pain around the affected tooth making it bearable enough to wait until you can get to a dentist.


How to use clove for toothache

• Bite a whole clove in your mouth near the point where it hurts and it will release oils which will soothe the pain
• Put a few cloves in a Cloves for Toothache Benefits and Side Effects small piece of cheesecloth and chew on it. In this method you extract oil and do not get clove pieces in your mouth
• Put clove in a cloth and put that cloth in oil and boil it for a few minutes. Put the cloth in a jar and allow it to cool for a week. Remove cloves from cloth and put it in your mouth where it hurts.

Mix whole clothes and cayenne pepper to make a paste-like substance. Apply this to the hurting tooth. I can cause a burning sensation for the first few minutes which will settle down in some time.


Expert Tips While Using Clove Oil for Toothache

Do not ingest clove oil as it is toxic, especially for babies

Toothache is usually an underlying cause of a deeper problem such as a cavity. Use clove only to suppress pain for a little while before you can see the dentist.

Dalchini for Diabetes Benefits and Side Effects

0

Dalchini for Diabetes Benefits and Side Effects, Cinnamon or dalchini is often used in cooking and baking for taste but it is effective in treating diabetes as well. Diabetes is a disease in which the body’s ability to produce insulin gets impaired resulting in an elevated level of glucose and abnormal metabolism of carbohydrates. Dalchini has a significant effect on blood sugar and can help manage the disease. in fact, a research published on WebMD found that cinnamon cut cholesterol by about 18% and blood sugar levels by 24% Here are all the benefits of dalchini for diabetes.

 

 

 

Dalchini: Amazing Benefits, Uses, Dosage, Side Effects, Price

 

 

 

 

 


Benefits of Dalchini

1. Has an anti-clotting effect on the blood

Clotting is a dangerous symptom of diabetes. Clots in the blood are bad as they obstruct blood vessels and lead to heart attack and stroke. Anti-coagulants usually known as blood thinners decrease the blood’s ability to clot. Cinnamon helps in anti-clotting as coumarin found in cinnamon is a natural anti-coagulant.

2. Boosts the body’s immune system

The body is prone to dangerous infections during diabetes as it is an autoimmune syndrome. You can consume cinnamon to boost immunity and avoid these infections. Cinnamon is great as an immune stimulator. It helps boost the immune system by preventing blood platelet clumping and inhibiting inflammatory substances.

3. Lowers insulin resistance

Certain studies have proved that cinnamon can lower insulin resistance which can thus help the body fight diabetes and high blood sugar levels.

Insulin is an important hormone in regulating metabolism and energy use. It also helps in transporting blood sugar from your bloodstream to your cells. However, most people have insulin resistance where people are resistant to the effects of insulin. This in turn leads to problems such as metabolic syndrome and TYPE 2 diabetes.

Cinnamon comes to the rescue here as it reduces insulin resistance by increasing insulin sensitivity, it can lower blood sugar levels.

4. Reduces oxidative stress

Oxidative stress, a kind of damage to the cells, has been linked to most diseases including diabetes. In a study (Antioxidant capacity of 26 spice extracts and characterization of their phenolic constituents) conducted by scientists to compare antioxidant properties in 26 different herbs and spices, cinnamon was found to have the second highest number of antioxidants among them.

According to another study (Antioxidant effects of a cinnamon extract in people with impaired fasting glucose that are overweight or obese), consuming 500 mg of cinnamon extract daily for 12 weeks decreased oxidative stress in adults with prediabetes by 14%.

One study showed that consuming 500 mg of cinnamon extract daily for 12 weeks decreased a marker of oxidative stress by 14% in adults with prediabetes

5. Lowers blood sugar

Researchers have found that taking sugar with every meal can significantly reduce the likeliness of blood sugar spikes after meals.


How To Take

  • Add a half teaspoon of cinnamon to hot water and drink the liquid once it is lukewarm
  • Add a half teaspoon of cinnamon Dalchini for Diabetes Benefits and Side Effects to your milk or sprinkle on to your food

Expert Tips While Taking Cinnamon for Diabetes

  • Do not exceed more than half a teaspoon of cinnamon per day if you are diabetic
  • Ensure that you do not add anything to your diet without consulting with your physician
  • An excess of cinnamon can cause liver toxicity, so it is best to limit your usage accordingly.

Adding cinnamon to a regime including blood thinners can run the risk of very low blood sugar. It is best to consult before consuming.

Fenugreek for Hair Growth Benefits and Side Effects

0

Fenugreek for Hair Growth Benefits and Side Effects, A herb with small pods that contain tiny brown seeds, Fenugreek has been used in traditional medicine since ancient times due to its antimicrobial, anti-inflammatory, anti-diabetic and anti-tumor properties. The leaves and seeds of this herb have been used ever since to cure various ailments. Traditionally, fenugreek seeds have been used as a condiment in Indian and other Asian cuisines. Known to promote better health, Fenugreek is used as a potent hair potion. Modern science is now beginning to find evidence of its healing properties, including hair growth.

 

 

 

 

What You Need To Know About Fenugreek Leaves Benefits | Femina.in

 

 

 

 

 

 


Benefits of using fenugreek on hair:

1.Enhances Hair Growth

Fenugreek seeds have a rich concentration of vitamins, nutrients and other prime elements that are essential for hair follicles to remain healthy. Researchers have shed light on the fact that fenugreek seeds are able to enhance the growth and overall health of hair follicles.

2. Darkens grey hair

Fenugreek combats the elements that promote grey hair. Preventing premature graying of hair, Fenugreek gives your hair a shiny and bouncy texture.

3. Has detangling properties

The tiny fenugreek seeds are known for their detangling properties promoting frizz free, shiny and soft hair.

4. Repairs damaged hair

Fenugreek seeds are known to repair the cuticles of damaged hair, making them frizz-free and smooth. Fenugreek seeds mixed with coconut oil works best to repair damaged hair.

5. Removes dandruff

Dandruff attacks on the scalp damaging the hair follicles, making them rough and limp. Fenugreek acts as a moisturizer for the hair follicles and makes them smooth and manageable.

6. Prevents scalp infections

Scalp infections are one of the major causes of hair loss. Fenugreek has been used to cure hair loss and balding as it is antimicrobial and antibacterial in nature. It thereby boosts hair growth and prevents hair breakage.

7. Prevents itchy scalp

Fenugreek cures a dry and itchy scalp, removing any dirt, dandruff and dead skin from the scalp thus facilitating smooth and frizz free hair.

8. For intensive hair growth

Fenugreek not only prevents hair breakage but also promotes the growth of dormant hair follicles. It also makes the hair look shinier and bouncier as it provides volume to limp and lifeless hair. One can see the results within a month of using fenugreek as a remedy to promote hair growth.


 

 

 

 

 

 

 

 

Ways to Use Fenugreek for Hair Growth

  1. Soak 1 cup of fenugreek seeds overnight. Strain the liquid and mix curry leaves to the seeds in equal measure. Blend it to a fine paste and apply on the hair. Leave it on for 20 minutes. Then rise off with cool water.
  2. Add 2 tablespoon of fenugreek seeds to 1 cup of water. Let it soak for at least 12 hours. Strain the concoction and pour it in a spray bottle. Use it as a hair spritz. It will detangle the hair strands in no time.
  3. Blend fenugreek seeds and coconut in the ratio 1:2. Apply the mixture on your hair from the scalp to the tip. Leave it on for at least 2 hours before rinsing it off with a mild shampoo and cool water.
  4. Mix fenugreek seeds with filtered water and soak overnight. Strain the liquid and mix the seeds with curd in the ratio ½: 1 in the morning and blend to a fine paste. Apply the mixture to the hair for an hour. Rinse it off with cool water and shampoo.
  5. Mix 2 tablespoonful of fenugreek powder to 1 beaten egg. Apply to the scalp to get rid of dry and itchy scalp.

Expert Tips

Fenugreek can turn a bad hair day into a good one in the blink of an eye. With regular use, the hair feels soft, Fenugreek for Hair Growth Benefits and Side Effects voluminous and lustrous.

According to Nasroallah Moradi Kor and Kolsum Moradi Fenugreek can help prevent hair loss due to its high protein content apart from combating dandruff and parasites such as lice.

  1. People who are allergic to soya beans, peanuts and green peas should refrain from consuming fenugreek as all of these ingredients hails from the same family.

While these seeds are considered safe for breastfeeding mothers, pregnant women should refrain from excessive consumption of fenugreek seeds.

Ginger During Pregnancy Benefits and Side Effects

0

Ginger During Pregnancy Benefits and Side Effects, is an important phase in your life. You may be advised by many people on what to eat and what not to eat during pregnancy. There are many people who love the flavour of ginger in their food or tea. If you are one of them and wondering whether it is safe to consume ginger during pregnancy then you are at the right place. Ginger is a miraculous herb and offers amazing benefits. Read on to know more about ginger and its benefits during pregnancy.

 

 

Ginger Nutrition Facts and Health Benefits

 

 

 

 

 


Is It safe to have Ginger during Pregnancy?

Ideally, ginger should be taken in a limited quantity. Many nutritionists suggest using only 1 gram per day. You can take it in the form of fresh and dried root, tea, or in bread. High dose of ginger can lead to gastritis, diarrhoea, and heartburn during pregnancy.


Benefits of Taking Ginger during Pregnancy:

1. Reduces Morning Sickness

Ginger is very effective in reducing nausea during pregnancy. Gingerols is an active ingredient that give the herb its spiciness and has the same effect as vitamin B6.

2. Improves Digestion

Digestion is a lot slower during pregnancy which  always keeps you feeling  full. Ginger has been found to speed up gastric emptying or the passage of from the stomach to the small intestine. Moreover, ginger is also considered a natural remedy for heartburn.

3. Proper Blood Supply

Ginger is very useful when it comes to proper blood circulation. Nutritionists recommend opting for ginger as it is a natural option in this regard. An adequate consumption of ginger can help in supplying required amount of blood to the fetus for healthy development.

4. Does Not Cause Miscarriage or Birth Defects

There is are no scientific evidences to prove it, but a large population-based study has concluded that eating ginger does not seem to increase the risk of congenital malformations. Ginger should be taken in a limited quantity less than 1mg that too after consulting your doctor.


Ways to Use Ginger during Pregnancy

Ginger can be consumed in various forms. One can easily including ginger in his or her diet. Following are the ways to use Ginger during pregnancy.

  • Ginger in Tea
  • Ginger with Bread
  • Ginger in food as a flavouring agent

Expert Tips

High doses of ginger like more than 1 or 2 grams Ginger During Pregnancy Benefits and Side Effects a day can increase the chances of heartburn. So, it is advised to consume a limited amount of ginger. Up to 1gm of ginger is safe during pregnancy. If ginger is consumed more than 2 grams it can cause significant problems such as gastritis, stomach upset, diarrhea, mouth irritation, and heartburn. It might also cause irregular heartbeats.

Honey During Pregnancy Benefits and Side Effects

0

Honey During Pregnancy Benefits and Side Effects, Mothers-to-be are especially wary about the things they consume but the downside to that is that they become paranoid when it comes to eatables like honey, papaya, grapes, eggs, pineapple. While some of them are indeed harmful during pregnancy, honey is not. Contrary to popular belief, this delicious, gooey indulgence is more than safe for pregnant women. Of course, it should be consumed in moderation and as a part of a balanced diet. Honey contains a wide variety of vitamins, minerals, antioxidants, and amino acids that aids in the baby’s development. Besides this, here’s a list of health benefits brought about by consuming this amber sweetener during pregnancy.

 

 

 

Is honey good for a pregnant woman? - Legit.ng

 

 

 


Benefits of Honey

1. Soothes cough naturally

Mothers-to-be may want to avoid strong medications or antibiotics for minor flu, cold or cough. Honey, with its anti-inflammatory action, can be a great natural remedy. Mix it with other natural ingredients like ginger or lemon and you have the perfect antidote for a stubborn cough. A cup of hot milk and a spoonful of honey is a miracle medicine for dry cough. It also reduces chest pain and eases dryness.

2. Eases heartburn

Hearburn and indigestion is common during pregnancy. It is caused by the growing uterus pressing onto the intestines and stomach. Honey mixed with a glass of warm milk works wonders for the mother-to-be and eases her discomfort.

3. Relieves Insomnia

Expectant mothers become discomfited as the pregnancy progresses and may also suffer from insomnia. Drinking milk mixed with a spoon of honey and a tablespoonful of turmeric before bedtime helps them have an undisturbed sleep.

4. Provides Antioxidants

Honey is a rich source of dietary antioxidants and flavonoids. Consumption of honey could help boost antioxidant levels in pregnant women and protect them from oxidative stress. The natural antioxidant boost can improve their well-being and also help in the development of the baby.

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 


Ways to Use Honey

1. Milk and Honey

Mix a tablespoon of honey in a glass of warm milk and consume it before hitting the bed. This provides warmth and relaxation to the body.

2. Honey and warm water

Mix a tablespoon of honey in a glass of lukewarm water and consume it on an empty stomach, first thing in the morning. It expels toxin build up from the body.

3. A big spoonful

Keep it simple by taking a big spoonful of honey and consuming it directly. You’ll get all the nutritional benefits without the fuss of actually preparing anything.


Expert Tips

  1. Make sure that you do not add honey in hot water or beverages as it eliminates its healthy enzymes. You may add it to lukewarm water.
  2. Honey should also not be consumed with foods rich in vitamins C and D as the minerals present in honey will nullify the benefits of the vitamins. Honey During Pregnancy Benefits and Side Effects
  3. Always invest in a good brand of honey to be safe.
  4. Almost all brands sell pasteurized honey but double check it just to be sure.
  5. Choose trusted, organic honey as it undergoes minimal processing.

Consult your doctor before including honey to your everyday diet.

Lemon for Diabetes Benefits and Side Effects

0

Lemon for Diabetes Benefits and Side Effects, With their citrusy freshness, lemons can turn any dish into a delight. From salads to cheesecakes, lemons have carved a niche in multi-continental cuisine. Although this tangy fruit goes unnoticed in our day-to-day lives, it comes loaded with nutrients and health benefits that you wouldn’t have thought of. Lemons are a rich source of fibre, vitamin C and potassium. Ayurveda advocates that lemon juice in warm water helps to kickstart your metabolism in the morning. And recent studies have revealed that lemon is very effective in curbing diabetes.

 

 

 

 

Is lemon good for diabetes? Lemon vs Blood Sugar - Fruits Facts

 

 

 

 


Benefits of lemons in Diabetes

1. Lowers Blood Glucose Level:

Researches have proved that the daily intake of Vitamin C reduces the risk of diabetes. It also reduces glucose levels in the body of diabetic patients. Because of the high vitamin C content, lemons are highly recommended to people with diabetes. It was also noted that type 2 diabetes was curable when lemons were taken alongside medicines like metformin. Also, vitamin C supplements can pose a serious threat to health if consumed in overly large doses, thereby making lemons the best choice when it comes to vitamin C intake.

2. High fibre content regulates glucose:

Diabetic patients run a risk of potential cardiovascular diseases. Fibre intake becomes indispensable for diabetics due to this elevated risk. Lemons contain a precious 2.4 grams of fibre in its flesh. High fibre-rich foods like lemons improve glycaemic control. Lemons also reduce the insulin requirements of the body bringing down the triglyceride cycle. Since lemons tend to lower the glycaemic index, the blood sugar fluctuates less and makes you feel full for longer.

3. Aids digestion

Diabetes hampers digestion which can affect other systems in the body. It results in acid reflux, slows down the digestion process and results in toxic build up in the body. Ayurveda believes that toxin build-up in the body is one of the principles causes of diabetes. Lemon water can aid in the digestion process and help flush the toxins out. It can also jumpstart your metabolism if you have a glass of water and lemon juice first thing in the morning.

4. Essential ingredient to meet nutrient needs

A diabetic struggles when it comes to finding ways to meet nutrition demands. Food rich in sugar, carbohydrates and calories cannot be consumed. Lemon is a low-fat and low-calorie food that can be consumed freely. It can be used as a base for lemonade instead of sugar laden soda and as a salad dressing instead of sugar loaded mayo.

5. Antioxidant properties prevents arterial damage:

Vitamin C is a powerful antioxidant that reduces free radicals damage in the body. It helps the production of collagen and maintains the integrity of the walls of the arteries, thereby lowering circulation problems and arterial damage. It helps decrease levels of fasting blood sugar, cholesterol, triglyceride and inflammation.

Drinking lemon water is not just a rage these days. It has indeed become a necessity for your health.


Expert tip

If you are a person with diabetes and Lemon for Diabetes Benefits and Side Effects want to add lemon to your daily intake, consult your doctor first on how to incorporate it in your diet.

Neem for Diabetes Benefits and Side Effects

0

Neem for Diabetes Benefits and Side Effects, scientifically known as Azadirachta Indica, belongs to the family of Meliaceae or Mahogany. A medicinal plant used extensively for the treatment of several ailments, Neem is one of the herbs which is well known for managing and treating diabetes. Neem leaves and roots are often used to cure conditions ranging from minor inflammation to dental disorders. Containing flavonoids, anti-viral compounds and glycoside, consumption of neem leaves (as directed) ensures that there is no surge in glucose levels and blood sugar levels stay in control. It also contains antibacterial, antifungal, analgesic, antipyretic, antimicrobial and antiseptic, blood purifying and spermicidal properties.

 

 

 

 

Benefits of Neem 6: Benefits in Diabetes

 

 

 

 


Health Benefits of Neem for Diabetes

1. Delays onset of diabetes

According to a study published in the Indian Journal of Physiology and Pharmacology, consumption of Neem delays or prevents the onset of diabetes by regulating the blood glucose levels. This is essential, especially for those with pre-diabetes.

2. Lowers blood sugar

Many studies have proved that neem leaves play a significant part in lowering blood sugar. Because of its bitter taste, Neem curbs the growth of sugar levels, thus proving to be a massive support in the treatment of diabetes.

3. Fights infections

With strong anti-bacterial and anti-fungal activities, neem can ward off infections like acne and rashes and can prevent bacterial diseases and redness.

4. Improves insulin sensitivity

Neem has been shown to improve insulin sensitivity in beta cells. This means that the body is able to digest sugar without increasing the blood sugar levels.


How to use Neem For Diabetes

Bitter foods are often recommended for regulating blood sugar levels and neem is one such edible substance with anti-diabetic properties. Neem for Diabetes Benefits and Side Effects Here is how to consume neem if you are diabetic.

  • Boil around 20 neem leaves in half a litre of water for 5 minutes.
  • When the leaves turn soft and a green tinge can be seen in the water, remove it from heat.
  • Strain the water and store it in a bottle, drinking it from time to time in short intervals during the day to keep your blood sugar levels down.

Expert Tips While Using Neem For Diabetes

If taken along with blood thinners, neem can cause the blood sugar levels to drop down, making it a dangerous situation. Thus always make sure that you consult your doctor before adding neem to your diet.

error: Content is protected !!